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NRC West Bengal: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बोलीं- जारी रहेगी अधिकारों के रक्षा की लड़ाई

सीएए और एनआरसी के खिलाफ पांचवी बार कोलकाता की सड़कों पर उतरी ममता ने कहा कि हमारा यह आंदोलन अधिकारों की रक्षा की लड़ाई के लिए हैं और यह तब तक जारी रहेगा जब तक इसे वापस नहीं

By Preeti jhaEdited By: Published: Thu, 26 Dec 2019 01:51 PM (IST)Updated: Thu, 26 Dec 2019 01:51 PM (IST)
NRC West Bengal: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बोलीं- जारी रहेगी अधिकारों के रक्षा की लड़ाई
NRC West Bengal: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी बोलीं- जारी रहेगी अधिकारों के रक्षा की लड़ाई

कोलकाता, जागरण संवाददाता। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) एनआरसी के खिलाफ पांचवी बार कोलकाता की सड़कों पर उतरी बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि हमारा यह आंदोलन अधिकारों की रक्षा की लड़ाई के लिए हैं और यह तब तक जारी रहेगा जब तक इसे वापस नहीं लिया जाता है। 

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उन्होंने कहा कि यह आंदोलन बंगाल से शुरू हुआ और पूरे हिंदुस्तान में हो रहा है और यह जारी रहेगा बशर्ते आंदोलन का तरीका लोकतांत्रिक और शांतिपूर्ण होना चाहिए। एनआरसी को लेकर सुश्री बनर्जी ने एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह पर निशाना साधा और कहा कि दोनों के बयान विरोधाभासी हैं।

वहीं, बंगाल में सीएए-एनआरसी नहीं लागू करने देने के अपने वायदे को दोहराते हुए तृणमूल प्रमुख ने कहा कि यह जनता का आंदोलन है, लोकतंत्र का आंदोलन है और अगर हमारा अधिकार कोई छीनने की कोशिश करता है तो हम उसे प्राण न्योछावर करके भी रक्षा करने की माद्दा रखते हैं।उल्लेखनीय है कि इस दिन राजा बाजार से पैदल मार्च की शुरुआत दोपहर बाद 1:15 बजे हुई जिसकी समाप्ति मल्लिक बाजार पहुंचकर हुई। सुश्री बनर्जी पैदल मार्च शुरू करने से पहले राजा बाजार में सभा को संबोधित कर रही थीं।

छात्र आंदोलन के साथ खड़ी है तृणमूल

भाजपा पर हमला बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आज देश में विभिन्न जगह छात्रों को धमका कर उनके आंदोलन को दबाने की कोशिश हो रही इसकी हम कड़ी निंदा करते हैं और हम राज्य व देश में छात्रों के आंदोलन के साथ खड़े हैं। उन्होंने कहा कि छात्रों पर अत्याचार हो रहा है, कहा जा रहा है कि यदि तुम आंदोलन में हिस्सा लोगे तो तुम्हारे खिलाफ बहुत बड़ी करवाई होगी, कैरियर बर्बाद हो जाएगा, यहां तक कि बहुत सारे हॉस्टल्स को बंद कर दिया गया है। वे छात्रों को धमकी दे रहे हैं लेकिन मैं कहना चाहूंगी  कि 18 साल होने के बाद किसी भी छात्र को वोट देने का, राजनीति करने का अधिकार है छात्र भी नागरिक हैं तो आंदोलन में हिस्सा क्यों नहीं ले सकते? हम अपने राज्य और देश में छात्रों के आंदोलन  का समर्थन करते हैं।

सर्वजनिक और निरंतर आंदोलन में संपत्तियों को जब्त कर भरपाई किया जाना अनैतिक

मुख्यमंत्री ने कहा कि विभिन्न जगह सीएए-एनआरसी के खिलाफ जन आंदोलन के  कारण  कई लोगों की जानें गई हैं। उत्तर प्रदेश में अकेले 16 लोग मारे गए हैं, कर्नाटक में 2 लोग मारे गए, असम में 6 लोग मारे गए लेकिन भाजपा  वाले कह रहे हैं कि आंदोलनकारियों की संपत्तियों को जब्त कर भरपाई की जाएगी तो मैं भाजपा को कहना चाहूंगी कि आग से न खेले। उन्होंने कहा कि सर्वजनिक और निरंतर आंदोलन में संपत्तियों को जब्त कर भरपाई किया जाना अनैतिक है। कानून राज्यों के पास भी है लेकिन यह कानून लगातार आंदोलन के लिए लागू नहीं होता। मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि आप यूपी, दिल्ली में ऐसा करेंगे तो फिर विपक्ष की सरकारें विभिन्न राज्यों में अपना निर्णय लेनेे को स्वतंत्र है।  मुख्यमंत्री ने घोषणा किया कि कर्नाटक में आंदोलन के दौरान मारे गए लोगों के स्वजनोंं से मुलाकात करने तृणमूल का एक  प्रतिनिधिमंडल वहांं जाएगा। 


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