एनबीएमसीएच में हड़ताल जारी, 119 डॉक्टरों ने दिया इस्तीफा
उत्तर बंगाल मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल शुक्रवार को तीसरे दिन भी जारी रही। जिसके चलते ओपीडी की सेवा पूरी तरह से बंद रही।
जागरण संवाददाता, सिलीगुड़ी : उत्तर बंगाल मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल की वजह से शुक्रवार को तीसरे दिन भी ओपीडी सेवा पूरी तरह बंद रही। ओपीडी में दिखाने आने वाले मरीज व उनके परिजन टिकट परेशान होकर इधर-उधर भटकते दिखे। हालांकि इस दौरान हर दिन आपातकालीन सेवा बनी रही।
कोलकाता के नीलरतन सरकार मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में बीते सोमवार की रात जूनियर डॉक्टरों के साथ मरीज के परिजनों द्वारा की गई मारपीट की घटना को लेकर उत्पन्न हुई समस्या का समाधान नहीं होने तथा कथिततौर पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा डॉक्टरों को धमकी देने के विरोध में शुक्रवार को 119 से ज्यादा डॉक्टरों ने सामूहिक रूप से इस्तीफा दे दिया।
इधर जूनियर डॉक्टरों ने शुक्रवार को एनबीएमसीएच के आपातकालीन विभाग के पास अपने आप को घायल करार देते हुए सिर पर प्रतीकात्मक रूप से बैंडेज बांधकर विरोध प्रदर्शन किया। इस दौरान उनका कहना है कि जब तक कोलकाता के नीलरतन सरकार मेडिकल कॉलेज अस्पताल में बीते सोमवार की रात जूनियर डॉक्टरों के साथ हुई मारपीट की घटना में जिम्मेदार लोगों को गिरफ्तार कर उन पर कार्रवाई नहीं होती है, तब तक उनका यह हड़ताल जारी रहेगा। एनबीएमसीएच के जूनियर डॉक्टर शहरयार आलम ने कहा कि बीते गुरुवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने डॉक्टरों को जो धमकी दी हैं, इसका हम लोग विरोध करते हैं। मुख्यमंत्री जब तक अपने दिए हुए बयान को वापस नहीं लेती हैं, एनआरएस मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में जूनियर डॉक्टरों के साथ मारपीट के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों को गिरफ्तार कर उन पर कार्रवाई नहीं होती है तथा डॉक्टरों की सुरक्षा सुनिश्चित नहीं होती है, तब तक हड़ताल जारी रहेगा।
-24 घंटे में 13 मरीजों की फिर हुई मौत
बीते बुधवार से ओपीडी सेवा भी ठप होने से एनबीएमसीएच का चिकित्सा व्यवस्था चरमरा गई है। जहां बुधवार दोपहर 12 बजे से गुरुवार दोपहर दो बजे तक सात महिलाएं समेत 20 मरीजों की मौत होने के भी मामले सामने आए थे। वहीं ताजे मामले में गुरुवार दोपहर दो बजे से शुक्रवार दोपहर दो बजे तक 13 और मरीजों की मौत होने के मामले सामने आए हैं। एनबीएमसीएच के अधीक्षक डॉ. कौशिक समद्दार ने कहा कि एनबीएमसीएच में आपातकालीन चिकित्सा जारी है। इंडोर में भर्ती मरीजों को पूरा ख्याल रखा जा रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले 24 घंटे में 13 मरीजों की मौत हुई है। हालांकि उन्होंने ठीक से चिकित्सा नहीं मिल पाने की वजह से मौत होने के मामले से इनकार किया है।
-डॉक्टरों ने डीएमई को भेजा इस्तीफा
एनआरएस मेडिकल कॉलेज व अस्पताल की घटना के विरोध में राज्य के अन्य मेडिकल कॉलेज व अस्पताल की तरह उत्तर बंगाल मेडिकल कॉलेज व अस्पताल (एनबीएमसीएच) में डॉक्टरों सामूहिक इस्तीफा दे दिया है। एनबीएमसीएच के आधिकारिक सूत्रों द्वारा मिली जानकारी के अनुसार 119 से ज्यादा डॉक्टरों ने सामूहिक इस्तीफा राज्य के डायरेक्टर ऑफ मेडिकल एजूकेशन (डीएमई) को भेजा है। इस्तीफा देने वाले डॉक्टरों ने कहा कि जब तक उनका इस्तीफा स्वीकार नहीं हो जाता है,तब तक वे एनबीएमसीएच में मरीजों को आपातकालीन सेवा देते रहेंगे।
वहीं एक अन्य पत्र मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के नाम राज्य सचिवालय नबान्न में भेजा गया है, जिसमें मांग की गई है। किया गया है, मुख्यमंत्री बनर्जी से एनआरएस मेडिकल कॉलेज व अस्पताल में जाकर जूनियर डॉक्टरों के साथ सहानुभूति पूर्वक बातचीत करें। एनबीएमसीएच के कार्यकारी प्राचार्य डॉ. प्रबीर देव ने कहा कि बड़ी संख्या में डॉक्टरों ने सामूहिक इस्तीफा दिया है।