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भूमि पूजन में महानंदा और तीस्ता के पानी का होगा उपयोग

-तोर्षा नदी से भी जल और मिट्टी का संग्रह -ठाकुर पंचानन बर्मन के गांव से भी जाएगी मिट्टी -विहि

By JagranEdited By: Published: Sat, 25 Jul 2020 06:51 PM (IST)Updated: Sat, 25 Jul 2020 06:51 PM (IST)
भूमि पूजन में महानंदा और तीस्ता के पानी का होगा उपयोग
भूमि पूजन में महानंदा और तीस्ता के पानी का होगा उपयोग

-तोर्षा नदी से भी जल और मिट्टी का संग्रह

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-ठाकुर पंचानन बर्मन के गांव से भी जाएगी मिट्टी

-विहिप कार्यकर्ता जल और मिट्टी लेकर जाएंगे अयोध्या

जागरण संवाददाता, सिलीगुड़ी:राम मंदिर निर्माण के लिए पाच अगस्त को अयोध्या में होने वाली भूमि पूजन में पूर्वोत्तर के प्रवेशद्वार कहे जाने वाले उत्तर बंगाल के चार स्थानों से जल व मिट्टी लेकर विहिप कार्यकर्ता अयोध्या जा रहे हैं। इसकी जानकारी विहिप के उत्तर बंगाल प्रान्त संगठन मंत्री अनूप मंडल व प्रदेश कोषाध्यक्ष लक्ष्मण बंसल ने दी। वह दैनिक जागरण से विशेष बातचीत कर रहे थे। उन्होंने बताया कि भूमि पूजन में महानंदा , तीस्ता और तोर्षा नदी के पानी और मिट्टी का उपयोग होगा। ठाकुर पंचानन बर्मन के गांव से भी मिट्टी लेकर आयोध्या जाएंगे। पानी और मिट्टी को विधि विधान पूर्वक लाकर विहिप कार्यालय भारत माता मंदिर में रखा गया है। इसमे विहिप के जिलाध्यक्ष सुदीप्त मजूमदार,सेवा प्रमुख सुशील रामपुरिया, जिला सचिव राकेश अग्रवाल तथा बजरंग दल के पवन गुप्ता अपने सहयोगियों के साथ सेवा दे रहे हैं। बताया कि विश्व हिंदू परिषद ने राम मंदिर निर्माण के भूमि पूजन के लिए एक कार्य योजना तैयार की है। भूमि पूजन के दौरान देशभर की पवित्र नदियों का जल और तीर्थो की पावन माटी का उपयोग होगा। श्रीराम जन्म भूमि के मंदिर को सामाजिक समरसता, राष्ट्रीय एकात्मता और हिंदुत्व के भाव जागरण का प्रतीक बनाया जाएगा। राम मंदिर का निर्माण, हिन्दू समाज की सैकड़ों वर्षो की अनवरत तपस्या पूरा होने जैसा है।

कार सेवकों को दी जाएगी श्रद्धांजलि

अयोध्या में होने वाले भूमिपूजन के दिन शाम को राम मंदिर आदोलन में दिवंगत हुए कारसेवकों को पाच-पाच दीपक जलाकर श्रद्धाजलि दी जाएगी। वहीं रामभक्त परिवारों में विजय महामंत्र श्रीराम जय राम जय जय राम का जप व श्रीराम की आरती घरों में होगी। सूर्यास्त के बाद घरों, मुहल्लों, गावए बाजार, मठ-मंदिरों, आश्रमों की सजावट कर दीप जलाने की अपील की है। इतना ही नहीं अगस्त को सभी संत-महात्मा अपने-अपने मठ-मन्दिरों, आश्रमों में और देश-विदेशों में बसे सभी रामभक्त अपने घरों या निकट के मंदिरों में सामूहिक बैठकर सुबह साढ़े दस बजे से अपने दो आराध्य देव का भजन-कीर्तन करेंगे। बड़े सभागार, हॉल में टेलीविजन या परदे की व्यवस्था कर अयोध्या में भूमि पूजन के कार्यक्रम को लाइव दिखाने की व्यवस्था की जाएगी। भूमि पूजन कार्यक्रम की शुरुआत 5 अगस्त को सुबह 8 बजे से ही शुरू हो जाएगी। लेकिन लगभग 11 बजे इसका वह भाग शुरू होगा, जो पूरे अनुष्ठान का सबसे अहम चरण होगा।


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