सवा लाख जबा फूलों से अभिषेक के साथ दादी सती महोत्सव का हुआ समापन
पूर्वोत्तर भारत में सिलीगुड़ी में पहली बार आयोजित दो दिवसीय नारायणी शरद महोत्सव का दादी के सवा लाख जबा फूलों से अभिषेक, भजन कीर्तन, छप्पन भोग व सवामणी भंडारा के साथ समापन हुआ।
By Rajesh PatelEdited By: Published: Mon, 17 Dec 2018 11:03 AM (IST)Updated: Mon, 17 Dec 2018 11:03 AM (IST)
सिलीगुड़ी [जागरण संवाददाता]। पूर्वोत्तर भारत में सिलीगुड़ी में पहली बार आयोजित दो दिवसीय नारायणी शरद महोत्सव का दादी के सवा लाख जबा फूलों से अभिषेक, भजन कीर्तन, छप्पन भोग व सवामणी भंडारा के साथ समापन हुआ। भजन के लिए अभिषेक सिंघल, महेंद्र स्वामी और विवेक अग्रवाल धनबाद और जयपुर से आए थे।
गंगानगर स्थित राणीसती मंदिर प्रांगण में सुबह से ही दादी को शृंगार करने के लिए भक्त जोड़े में पहुंच रहे थे। मंदसीर नवमी के दिन ही नारायणी सती का तनधन जी के साथ ब्याह हुआ था, इसलिए पंडाल में बधाईयां देने वालों की भीड़ लगी थी। भारतवर्ष में 51वीं बार आयोजित सवा लाख जबा फूलों से दादी के अभिषेक के अवसर पर कोलकाता, जयपुर व धनबाद से आए गायकों ने अपने भजनों से श्रद्धालुओं को झूमने पर मजबूर कर दिया। दादी तेरा धाम झुंझनू भक्त पुकारे गाए...., तू कितनी प्यारी है .....,दादी तेरी ज्योति मैं जलाऊं दिन रात... श्वांसों का क्या ठिकाना एक दिन मईया तुम मेरी कुटिया में आ भी जाना......। मेंहदी लगी थारा हाथा में मेंहदी का रंग गुलाल मेरी दादी सती हो मेरी प्यारी सती आदि भजनों पर भक्त जमकर थिरके।
दो दिवसीय कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर संजय शर्मा व विनोद अग्रवाल उर्फ बिन्नू ने बताया कि उम्मीद से कहीं ज्यादा भक्तों का आगमन हुआ। दादी भक्त अजय देवड़ा, नरेश चौधरी, किशन जालान, अशोक गोयनका, रवि जैन, आनंद बंसल, सुभाष बंसल, सरोज गोयनका, नवीन चौधरी, राम जालान विनोद जालान व आशिष देवड़ा ने कहा कि दादी के इस अलौकिक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए बिहार, नेपाल, भूटान, असम और उत्तर बंगाल के विभिन्न प्रांतों से भक्त यहां आए थे।
गंगानगर स्थित राणीसती मंदिर प्रांगण में सुबह से ही दादी को शृंगार करने के लिए भक्त जोड़े में पहुंच रहे थे। मंदसीर नवमी के दिन ही नारायणी सती का तनधन जी के साथ ब्याह हुआ था, इसलिए पंडाल में बधाईयां देने वालों की भीड़ लगी थी। भारतवर्ष में 51वीं बार आयोजित सवा लाख जबा फूलों से दादी के अभिषेक के अवसर पर कोलकाता, जयपुर व धनबाद से आए गायकों ने अपने भजनों से श्रद्धालुओं को झूमने पर मजबूर कर दिया। दादी तेरा धाम झुंझनू भक्त पुकारे गाए...., तू कितनी प्यारी है .....,दादी तेरी ज्योति मैं जलाऊं दिन रात... श्वांसों का क्या ठिकाना एक दिन मईया तुम मेरी कुटिया में आ भी जाना......। मेंहदी लगी थारा हाथा में मेंहदी का रंग गुलाल मेरी दादी सती हो मेरी प्यारी सती आदि भजनों पर भक्त जमकर थिरके।
दो दिवसीय कार्यक्रम के सफल आयोजन को लेकर संजय शर्मा व विनोद अग्रवाल उर्फ बिन्नू ने बताया कि उम्मीद से कहीं ज्यादा भक्तों का आगमन हुआ। दादी भक्त अजय देवड़ा, नरेश चौधरी, किशन जालान, अशोक गोयनका, रवि जैन, आनंद बंसल, सुभाष बंसल, सरोज गोयनका, नवीन चौधरी, राम जालान विनोद जालान व आशिष देवड़ा ने कहा कि दादी के इस अलौकिक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए बिहार, नेपाल, भूटान, असम और उत्तर बंगाल के विभिन्न प्रांतों से भक्त यहां आए थे।
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