चाय बागान बंद,आंदोलन स्थगित, अगर नहीं बनी बात तो करेंगे आंदोलन
श्रमायुक्त और चाय बागान मालिकों के आग्रह पर 23 जुलाई से शुरू होने वाले तीन दिवसीय चाय बागान बंदी को ज्वाइंट फोरम ने 30 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दिया है।
सिलीगुड़ी, जागरण संवाददाता। श्रमायुक्त और चाय बागान मालिकों के आग्रह पर 23 जुलाई से शुरू होने वाले तीन दिवसीय चाय बागान बंदी को ज्वाइंट फोरम ने 30 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दिया है।
यह जानकारी फोरम के जिआउल आलम और अलोक चक्रवर्ती ने दी। मंगलवार को न्यूनतम मजदूरी और चाय बागान की समस्याओं के समाधान को लेकर उत्तर कन्या में त्रिपक्षीय वार्ता हुई। जिसमें आग्रह किया गया कि न्यूनतम मजदूरी को लेकर 30 जुलाई को कोलकाता में बैठक होगी। जिसमें न्यूनतम मजदूरी की मांग का समाधान निकला जाएगा।
श्रमिक नेताओं ने कहा कि बैठक में मांग करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री चाय बागान की समस्या को लेकर कमेटी गठित कर तीन माह में समाधान निकालने की बात की हैं, परंतु न्यूनतम मजदूरी को लेकर कोई बात नहीं की। इसको लेकर चाय श्रमिकों में रोष है। नेता द्वय ने कहा कि 20 जुलाई को सभी चाय बागानों में यूनियन नेताओं द्वारा गेट मीटिंग करते हुए चाय बागान बंदी वापसी के निर्णय के संबंध में जानकारी दी जाएगी। यूनियन नेताओं का कहना है कि अगर 30 जुलाई को इस संबंध में कोई फैसला नहीं हुआ तो ज्वाइंट फोरम बैठक कर व्यापक आंदोलन की रूपरेखा तैयार करेंगे।
इंटक नेता आलोक चक्रवर्ती ने कहा कि बंगाल में ऐसा लगता है कि आंदोलन के बिना कुछ होने वाला नहीं। वाममोर्चा की सरकार को भी अगर सत्ता से हटाया गया उसके पीछे भी आंदोलन ही था। चाय श्रमिक इस बात को अच्छी तरह समझ गये है इसलिए वे चाहते है कि बातचीत से समस्या का हल नहीं आंदोलन की भाषा ही प्रशासन और सरकार समझ पाएगी।
त्रिपक्षीय वार्ता में श्रमायुक्त जावेद अख्तर, ज्वाइंट श्रमायुक्त चंदन दास गुप्ता, मंत्री के सलाहकार पशुपति घोष, मालिक पक्ष से अरजीत राहा, पीके भट्टाचार्य तथा डी चक्रवर्ती तथा ट्रेड यूनियन की ओर से जिआउल आलम, आलोक चक्रवर्ती, समन पाठक, मणि दर्नाल, मोहन शर्मा, अभिजीत मजूमदार,गोपाल प्रधान, तेज प्रताप टोप्पो, प्रभात मुखर्जी ,अभिजीत मजूमदार, बबलू मुखर्जी, नकुल सोनार समेत अन्य यूनियन नेता मौजूद थे।