कुंडली के इन भाव में रहेंगे शनि तो करियर में मिलेगी सफलता


By Ashish Mishra26, Apr 2024 03:24 PMjagran.com

शनि देव की कृपा

जिन लोगों को पर शनि देव की कृपा रहती है उन्हें परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ता है। आइए जानते हैं कि कुंडली के किन भाव में शनि के रहना शुभ होता है?

करियर में सफलता

शनि देव के प्रसन्न होने से करियर में सफलता मिलती है। परिश्रम कर रहे लोगों के लिए शनि देव का कुंडली के शुभ भाव में विराजमान होना अच्छा माना जाता है।

शनि देव का कुंडली में विराजमान होना

कुंडली में शनि देव अपना स्थान बदलते रहते हैं। शनि देव के स्थान को देखकर जातक को कब फल की प्राप्ति होने वाली है।

कुंडली का पहला भाव

इस भाव में शनि देव के विराजमान होने और लग्नेश का मित्र होने पर जातक को शुभ परिणाम मिलता है। इस दौरान जातक सफल होने के लिए काफी मेहनत करता है।

कुंडली का तीसरा भाव

शनि देव के इस भाव में रहना बेहद अच्छा माना जाता है। इस दौरान जातक को इंजीनियरिंग और टेलीकॉम जैसे क्षेत्र में सफलता मिलती है।

छठे भाव में शनि देव

शनि देव के कुडंली के छठे भाव में रहने से जातक को कर्ज से छुटकारा मिलता है और दुश्मन बड़ी समस्या में पड़ जाता है।

कुंडली का दशम भाव

कुंडली का दसवां भाव करियर के अच्छा माना जाता है। शनि देव के दशम भाव में विराजमान होने पर जातक को धीरे-धीरे सफलता मिलती है, लेकिन यह सफलता ज्यादा दिन तक रहती है।

आर्थिक स्थिति को मजबूत करना

कुंडली के पहले, तीसरे, छठे और दशम भाव में विराजमान होने पर धन से जुड़ी समस्या दूर होने लगती है। इसके साथ ही व्यक्ति का आर्थिक स्थिति भी मजबूत होने लगती है।

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