सनातन धर्म में भगवान सूर्य की उपासना को बेहद महत्वपूर्ण माना गया है। रविवार के दिन सूर्य देव की पूजा की जाती है।
जो लोग इस दिन भगवान सूर्य की उपासना करते हैं, उन्हें राज सुख प्राप्त होता। भगवान सूर्य नारायण की पूजा में जल चढ़ाना बेहद शुभ माना जाता है।
प्राचीन काल से ही भारतीय संस्कृति में सूर्य देव को जल चढ़ाने की प्रथा बहुत महत्वपूर्ण रही है। वेदों और हिंदू धर्मग्रंथों में इसका उल्लेख किया गया है।
इन बातों का ध्यान रखें वहीं सूर्य को जल चढ़ाने के दौरान लोग कुछ ऐसी गलतियां करते हैं, जिसका असर उनके जीवन पर काफी बुरा पड़ता है। ऐसे में इन बातों का ध्यान रखें।
सुबह जल्दी उठें और स्नान करें। अर्घ्य देते समय जूते या चप्पल न पहनें। अर्घ्य देने से पहले जल में कुछ फूल, अक्षत डाल लें।
पूर्व दिशा की ओर मुख करके जल चढ़ाएं। सूर्य देव को जल चढ़ाने का सबसे अच्छा समय सूर्योदय माना गया है। जल चढ़ाते समय सूर्य मंत्र या गायत्री मंत्र का जाप करें।
सूर्य देव से हार्दिक प्रार्थना करें। अंत में सम्मान और विनम्रता के संकेत के रूप में उनके प्रति झुक कर प्रार्थना समाप्त करें।
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