कपिल देव, एमएस धोनी जैसे कप्तानों ने अपनी शानदार कैप्टेंसी के दम पर टीम को फर्श से अर्श तक पहुंचाय। लेकिन इस बीच कुछ ऐसे कप्तान भी रहे हैं, जो भारत को विश्व कप का खिताब नहीं दिला नहीं सके।
हाल ही में रोहित शर्मा के नेतृत्व वाली भारतीय टीम ने इस विश्व कप में लगातार 10 मैचों में शानदार जीत हासिल की थी, लेकिन फाइनल मैच में ऑस्ट्रेलिया से हार गयी।
ऐसे में आज हम आपको उन कप्तानों के बारे में बताएंगे, जिन्होंने शानदार कप्तानी तो की लेकिन टीम को विश्व कप का खिताब नहीं जिता पाए।
टीम इंडिया के पूर्व कप्तान और मौजूदा हेड कोच राहुल द्रविड़ की कप्तानी में विश्व कप की ट्रॉफी नहीं जीती। पूर्व भारतीय कप्तान ने तीन विश्व कप के सीजन में हिस्सा लिया था, लेकिन उनके हाथ एक बार भी सफलता नहीं लगी।
सौरव गांगुली ने भी 3 बार विश्व कप खेला, लेकिन एक बार भी वह अपनी कप्तानी में भारत को विश्व कप का खिताब नहीं जिता सके। गांगुली 1999 विश्व कप में तीसरे सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज रहे थे।
भारतीय टीम के पूर्व कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन ने तीन विश्व कप में भारत की कप्तानी की। वह ऐसा करने वाले एकमात्र भारतीय कप्तान रहे। भारत ने उनकी कप्तानी में अच्छा प्रदर्शन किया, लेकिन फाइनल मैच में जीत नसीब नहीं हुई।
भारतीय टीम के पूर्व तेज गेंदबाज जावगल श्रीनाथ (ने अपने क्रिकेट करियर में कुल 4 विश्व कप के सीजन में हिस्सा लिया था, लेकिन अपनी कप्तानी में वह भारत को खिताब नहीं दिला सके।
अनिल कुंबले ने 1996 से लेकर 2007 तक अपने करियर में कुल 4 बार वनडे विश्व कप खेला, लेकिन एक बार भी वह भारत को विश्व चैंपियन नहीं बना सके। पूर्व भारतीय स्पिनर ने कुल 18 मैचों में 31 विकेट झटके थे।
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