आचार्य चाणक्य ने अपने विचारों को पिरोकर नीतिशास्त्र बनाया है, जिसका लोग आज भी जीवन में तरक्की पाने के लिए उपयोग करते हैं।
चाणक्य ने रिश्ते को इंसान की ताकत बताया है, चाणक्य नीति के अनुसार, रिश्ता जितना मजबूत होगा इंसान भी उतना ही मजबूत होगा।
आचार्य चाणक्य ने नीतिशास्त्र में उन बातों का जिक्र किया है, जो कि पति-पत्नी या फिर किसी रिश्ते को पलभर में बिखेर सकते हैं।
आचार्य चाणक्य के अनुसार रिश्तों की डोर जितनी मजबूत होती है, उतनी ही कमजोर होती है। यदि मन में वहम आ जाए तो वह रिश्ता पलभर में टूट जाता है।
चाणक्य नीति के अनुसार, जब किसी एक व्यक्ति को खुद पर अहंकार आ जाए और वह अपने सामने दूसरों को छोटा समझने लगे तो उसके रिश्ते जल्द ही टूटने लगते हैं।
आचार्य चाणक्य के अनुसार, रिश्ते एक-दूसरे से प्यार के लिए होते हैं। जब इनमें प्रतिस्पर्धा होने लगती है। तो रिश्तों की डोर भी टूट जाती है।