Chaitra Navratri में हवन के समय पढ़ें यह मंत्र, बनेंगे बिगड़े काम


By Ashish Mishra16, Apr 2024 11:24 AMjagran.com

चैत्र नवरात्रि 2024

चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है। इस दौरान व्रत रखने से संकट दूर होने लगते हैं। आइए जानते हैं कि नवरात्रि में हवन के समय कौन से मंत्र पढ़ने चाहिए?

नवमी तिथि शुभ मुहूर्त

चैत्र माह की नवमी तिथि की शुरुआत 16 अप्रैल को 01 बजकर 23 मिनट से होगी। इस तिथि का समापन 17 अप्रैल को दोपहर 03 बजकर 14 मिनट पर होगा।

हवन करना

चैत्र नवरात्रि में नवमी के दिन हवन की जाती है। इस दौरान हवन में आहुति डालते समय मंत्र पढ़ना चाहिए। कई मंत्र ऐसे होते हैं जिसे पढ़ना जरूरी माना जाता है।

पूजा-पाठ में मंत्र पढ़ना

चैत्र नवरात्रि में पूजा-पाठ के समय मंत्र का जाप किया जाता है। नवरात्रि के अंतिम दिन यानी नवमी को हवन करते समय भी मंत्र पढ़ना चाहिए।

हवन के समय बोले जाने वाले मंत्र

नवमी के दिन हवन करते समय ‘ऊं आग्नेय नम: स्वाहा, ऊं गणेशाय नम: स्वाहा, ऊं गौरियाय नम: स्वाहा, ऊं नवग्रहाय नम: स्वाहा, ऊं दुर्गाय नम: स्वाहा, ऊं महाकालिकाय नम: स्वाहा’ मंत्र पढ़ना चाहिए।

हवन में आहुति डालते समय बोलें ये मंत्र

हवन करते समय ऊं हनुमते नम: स्वाहा, ऊं भैरवाय नम: स्वाहा, ऊं कुल देवताय नम: स्वाहा, ऊं न देवताय नम: स्वाहा, ऊं ब्रह्माय नम: स्वाहा, ऊं विष्णुवे नम: स्वाहा, ऊं शिवाय नम: स्वाहा मंत्र पढ़ना चाहिए।

हवन सामग्री

नवरात्रि में हवन करते समय एक गोला या सूखा नारियल, कलावा, लाल रंग का कपड़ा, अश्वगंधा, ब्राह्मी और सूखी लकड़ियां, चंदन की लकड़ी, पीपल का तना, आम की लकड़ी, छाल, गूलर की छाल आदि की जरूरत होती है।

आरती करना

चैत्र नवरात्रि में हवन करने के बाद आरती करनी चाहिए। ऐसा करने से माता रानी प्रसन्न होती हैं और भक्त पर अपनी कृपा बरसाती हैं।

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