हल्द्वानी,,,सिटी,,बिना स्नान किए ही वापस लौटे गढ़वाल आयुक्त
गढ़वाल आयुक्त डॉ. बीवीआरसी पुरुषोत्तम बुधवार सुबह उत्तरकाशी के मणिकर्णिका घाट पर स्नान के लिए पहुंचे। लेकिन, घाट पर स्नान के लिए पर्याप्त पानी न होने पर आयुक्त बिना स्नान किए ही वापस लौट गए।
जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी: गढ़वाल आयुक्त डॉ. बीवीआरसी पुरुषोत्तम बुधवार सुबह उत्तरकाशी के मणिकर्णिका घाट पर स्नान के लिए पहुंचे। लेकिन, घाट पर स्नान के लिए पर्याप्त पानी न होने पर आयुक्त बिना स्नान किए ही वापस लौट गए। इस पर आयुक्त ने ¨सचाई विभाग के अधिशासी अभियंता से पूछा कि करोड़ों की धनराशि से घाट का निर्माण क्यों कराया, जबकि घाट पर श्रद्धालु स्नान ही नहीं कर पा रहे हैं। आयुक्त ने ¨सचाई विभाग के रवैये पर कड़ी नाराजगी जताई।
उन्होंने जिलाधिकारी उत्तरकाशी को निर्माण के लिए धनराशि के आवंटन पर रोक लगाने के लिए उच्च अधिकारियों को पत्र भेजने के निर्देश दिए। आयुक्त का गुस्सा यहीं शांत नहीं हुआ। घाट के निकट जोशियाड़ा की ओर जलाए जा रहे कूड़े को लेकर भी आयुक्त ने नगर पालिका से जवाब मांगा। गढ़वाल आयुक्त डॉ. बीवीआरसी पुरुषोत्तम बीती मंगलवार शाम उत्तरकाशी पहुंचे। बुधवार सुबह वे मणिकर्णिका घाट पर गंगा स्नान के लिए पहुंचे। लेकिन, घाट पर स्नान के लिए पर्याप्त पानी न होने के कारण खासे नाराज हुए। उन्होंने ¨सचाई अधिकारियों से पूछा कि जब घाट पर स्नान के लिए पानी ही नहीं मिलेगा तो घाट को सुंदर बनाकर क्या फायदा। उन्होंने कहा कि नमामि गंगे परियोजना से जब करोड़ों रुपये की धनराशि घाट निर्माण में खर्च की है तो घाट पर पानी की उचित व्यवस्था की जानी चाहिए थी। इसी दौरान मणिकर्णिका घाट के सामने जोशियाड़ा में दो स्थानों पर कूड़ा जलाए जाने को लेकर गढ़वाल आयुक्त ने नाराजगी व्यक्त तथा नगर पालिका से इस संबंध में जवाब मांगने के निर्देश डीएम को दिए।