भारत-चीन व्यापार को परवान चढ़ाने में ये देश करेगा मदद
जून के महीने शुरू होने वाले भारत-चीन अंतरराष्ट्रीय व्यापार को परवान चढ़ाने में इसबार नेपाल मदद करेेगा।
धारचूला, पिथौरागढ़[जेएनएन]: जून से शुरू होने वाले भारत-चीन अंतरराष्ट्रीय व्यापार के लिए भारतीय व्यापारियों ने माल ढुलान शुरू कर दिया है। मौसम के बिगड़े मिजाज और बंद पड़े मार्ग से सहमे व्यापारियों को एक पखवाड़े पूर्व ही माल ढुलान की बनानी पड़ी है। खास बात यह है कि इस बार भारत-चीन व्यापार तीसरे देश नेपाल की मदद से परवान चढ़ेगा।
उत्तराखंड के सीमांत जिले पिथौरागढ़ से होने वाला भारत-चीन व्यापार जून माह में शुरू होता है और अक्टूबर मध्य तक चलता है। यहां के व्यापारी मई के तीसरे सप्ताह से भारतीय मंडी गुंजी के लिए उत्पाद भेजना भी चालू कर देते हैं। इस वर्ष मौसम के बिगड़े मिजाज के साथ-साथ लखनपुर और मालपा में मार्ग अभी तक ठीक नहीं से व्यापारियों को बदलनी पड़ी है।
अप्रैल और मई माह में जिस तरह से बारिश हो रही है उससे व्यापारियों को लगने लगा है कि मालपा और लखनपुर में बने अस्थायी पुल पिछले वर्ष की तरह ही इस बार भी टिक नहीं पाएंगे। ऐसी स्थिति में वे अपना माल चीन तक नहीं ले जा सकेंगे और व्यापार उनके हाथ से निकल जाएगा। व्यापारी वर्तमान में अपना माल लखनपुर से नेपाल ले जा रहे हैं और करीब चार किमी तक नेपाल सीमा के बाद वापस भारत में मंडी गुंजी तक पहुंच रहे हैं।
भारत से चीन जाने वाला सामान
गुड़, मिश्री, कॉस्मेटिक सामान, तंबाकू, कॉफी, चाय।
चीन से भारत आने वाला सामान
जूते, रेडीमेड वस्त्र , जैकेट, ऊन, इलेक्ट्रॉनिक सामान, सीमेंट।
यह भी पढ़ें: फ्रांस उत्तराखंड में उच्च शिक्षा में सहयोग का इच्छुक
यह भी पढ़ें: अब इस वर्ल्ड रिकॉर्ड को बनाने की तैयारी में है ग्राफिक एरा, जानिए
यह भी पढ़ें: इस युवा ने बनाया विश्व का सबसे छोटा चरखा, लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड में दर्ज