2022 में पार्टी के चुनाव प्रचार की कमान संभालेंगे रावत, नहीं लड़ेंगे चुनाव
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव में प्रचारक की भूमिका संभालने का एलान किया है।
संवाद सहयोगी, पिथौरागढ़: पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव में प्रचारक की भूमिका संभालने का एलान किया है। उन्होंने कहा कि इससे पूर्व जब-जब वे चुनाव मैदान से दूर रहे पार्टी को बड़ा फायदा मिला है।
बुधवार को पिथौरागढ़ में पत्रकारों से वार्ता करते हुए उन्होंने कहा कि चुनाव मैदान में उतरने से प्रत्याशी खुद को बंधा हुआ महसूस करने लगता है। ऐसे में अन्य प्रत्याशियों के लिए मजबूत तरीके से चुनाव प्रचार नहीं हो पता। उनका अनुभव रहा है कि जब-जब उन्होंने पार्टी के प्रचार की कमान संभाली तब-तब पार्टी को फायदा मिला है। वर्ष 2002 और वर्ष 2007 के चुनाव इसके गवाह हैं। उन्होंने पिछली स्थितियों का आंकलन करते हुए फैसला लिया है कि वे 2022 में चुनाव नहीं लड़ेंगे। पार्टी के लिए केवल चुनाव प्रचार करेंगे।
पूर्व मुख्यमंत्री ने प्रदेश में सूखे के संकट पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि शीतकालीन वर्षा नहीं होने से फसल और चारा सूख रहा है। सब्जी उत्पादन की संभावनाएं भी क्षीण हो रही हैं। सरकार की ओर से अब तक इस मामले में कोई पहल नहीं हुई है। सरकार को जल्द सर्वदलीय बैठक बुलाकर सूखे से निपटने की रणनीति बनानी होगी। उन्होंने शीतकाल में ही जंगलों के जलने पर गहरी चिंता जताते हुए कहा कि सरकार को इस उत्तराखंड की बहुमूल्य संपदा को बचाने के लिए ठोस योजना बनाने की जरू रत है। वार्ता के दौरान पूर्व विधायक मयूख महर, पूर्व नगर पालिकाध्यक्ष जगत सिंह खाती, जिलाध्यक्ष त्रिलोक सिंह महर, यूथ कांग्रेस अध्यक्ष ऋषेंद्र महर आदि मौजूद रहे।
पूर्व मुख्यमंत्री इससे पहले चिमिस्यानौला में सभासद अनिल जोशी की ओर से आयोजित माघ खिचड़ी में शामिल हुए। इस अवसर पर वरिष्ठ महिला नेत्री रेवती जोशी, मनोज ओझा, अंजू लुंठी, पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष प्रकाश जोशी, नवल रावल, लक्ष्मण सिंह बसेड़ा, खीमराज जोशी, मनोज खत्री, शंकर खड़ायत सहित तमाम कांग्रेस कार्यकर्ता मौजूद रहे। हरीश रावत ने कार्यकर्ताओं से 2022 विधानसभा चुनाव के लिए जुट जाने को कहा।