देश के पसंदीदा हिल स्टेशनों में शुमार नैनीताल में घूमना और खाना-पीना हुआ महंगा
देश के पसंदीदा हिल स्टेशनों में शुमार नैनीताल में घूमना और खाना-पीना अब महंगा हो गया है। यहां के होटल रेस्टोरेंट में खाने-पीने के साथ ही रोपवे का आनंद उठाने के लिए पर्यटकों को 20 से 30 फीसद तक अधिक रुपए खर्च करने होंगे।
नैनीताल, जागरण संवाददाता : बढ़ती महंगाई का असर टूरिज्म सेक्टर पर भी नजर आने लगा है। देश के पसंदीदा हिल स्टेशनों में शुमार नैनीताल में घूमना और खाना-पीना अब महंगा हो गया है। यहां के होटल, रेस्टोरेंट में खाने-पीने के साथ ही रोपवे का आनंद उठाने के लिए पर्यटकों को 20 से 30 फीसद तक अधिक रुपए खर्च करने होंगे। पर्यटक स्थल की सैर कराने वाली टैक्सी सेवाओं के किराए में 300 सै 400 रुपए तक की बढ़ोतरी हो गई है। झील दर्शन का पैकेज भी चार हजार रुपए तक पहुंच गया है।
1200 से 1400 रुपए में होते थे नैनीताल दर्शन
मंहगाई की मार से कोई सेक्टर अछूता नहीं है। पेट्रोल-डीजल के दामों में हुई बेतहाशा बढ़ोतरी ने आम आदमी की कमर तोड़ दी है। पहले 1200 से 1400 रुपए में नैनीताल दर्शन हो जाया करते थे। लेकिन तेल कीमतों में बेतहाशा बढ़ोतरी के कारण अब टैक्सी ड्राइवर 1800 से 2200 रुपए तक वसूल रहे हैं। ऐसे में कुमाऊं मंडल विकास निगम ने नैनीताल से स्नाव्यू तक रोप-वे का किराया 230 से बढ़ाकर 300 रुपए कर दिया है।
केव गार्डन के लिए देने होंगे 300
नैनीताल के दर्शनीय पर्यटन स्थलों में एक केव गार्डेन के लिए अब अब 230 की जगह 300 रुपए पर्यटकों को खर्च करने पड़ेंगे। हालांकि नैनीताल जू का किराया पहले बढ़ाया गया था, इसलिए उसे फिलहाल स्थिर रखा गया है। लेकिन चिडि़याघर प्रबंधन जल्द ही उसकी फीस में भी बढ़ोतरी कर दे तो कोई हैरत वाली बात नहीं होगी।
मजबूरी में बढ़ा गए दाम
रेस्टोरेंट संचासलकों ने कहा कि गैस, पेट्रोल, डीजल के साथ ही सब्जियों और खद्य तेलों के दाम भी काफी उछले हैं। ऐसे में दाम बढ़ाना हमारी मजबूरी है। वहीं नैनीताल टूर एंड टैक्सी एसोसिएशन के अध्यक्ष नीरज जोशी बताते हैं कि हम चाहते हैं कि पर्यटकों को सस्ती सेवाएं उपलब्ध हों, लेकिन पेट्रोलियम पदार्थों के दामों में बेतहाशा बढ़ोतरी के बाद किराया बढ़ाना हमारी मजबूरी हो गई है।