Move to Jagran APP

मित्र पुलिस बन न जाए आम जनता की 'शत्रु', इन घटनाओं ने तोड़ा भरोसा, उत्तराखंड पुलिस की छवि को बनाया दागदार

Bad image of Uttarakhand police उत्तराखंड पुलिस ने कई ऐसे काम भी किए हैं जिनके कारण इन्हें तारीफ भी मिली है। मगर इसी महकमे के कुछ वर्दीधारियों ने अपनी खाकी पर दाग भी लगाए हैं। बात यहां पर कुछ ऐसे ही हालिया केसों की जिनके कारण खाकी दागदार हुई है।

By Rajesh VermaEdited By: Published: Fri, 30 Sep 2022 09:42 PM (IST)Updated: Fri, 30 Sep 2022 09:42 PM (IST)
मित्र पुलिस बन न जाए आम जनता की 'शत्रु', इन घटनाओं ने तोड़ा भरोसा, उत्तराखंड पुलिस की छवि को बनाया दागदार
आमजन के मन में बनी रक्षक पुलिस की भूमिका पर सवाल उठने लगे हैं।

हल्द्वानी, राजेश वर्मा : Bad image of Uttarakhand police : मित्र पुलिस का दर्जा रखने वाली उत्तराखंड पुलिस की वर्दी दागदार हो रही है। बीते कुछ समय में खाकी पर कई एेसे आरोप लगे हैं, जिसने इसकी मित्र पुलिस की भूमिका पर संदेह पैदा कर दिया है। हल्द्वानी से लेकर ऋषिकेश तक कई ऐसे मामले सामने आ चुके हैं, जहां पुलिस ने अपनी वर्दी का रौब दिखाकर गलत काम को अंजाम दिया है। इससे आमजन के मन में बनी रक्षक पुलिस की भूमिका पर सवाल उठने लगे हैं। 

loksabha election banner

अच्छी छवि पर दाग भारी

मित्रता, सेवा, सुरक्षा उत्तराखंड पुलिस की पहचान है। इसने कई ऐसे काम भी किए हैं, जिनके कारण इन्हें तारीफ भी मिली है। कोरोना काल में मैदान से लेकर पहाड़ तक पुलिस का यह मित्र रूप सामने भी आया। मरीज की जान बचाने को चाहे उसे कंधे पर लेकर अस्पताल पहुंचाना हो, या कई किमी की दूरी तय कर मरीज के लिए कंधे पर ऑक्सीजन सिलिंडर ले जाना हो, या फिर कोरोना काल में खुद भोजन तैयार कर जरूरतमंदों में बांटना हो, उत्तराखंड की पुलिस के ऐसे ही कई कार्य ने उनके सीने को चौड़ा किया है। मगर इसी महकमे के कुछ वर्दीधारियों ने अपनी खाकी पर दाग भी लगाए हैं। बात यहां पर कुछ ऐसे ही हालिया केसों की, जिनके कारण खाकी दागदार हुई है।

केस 1 : झूठे मुकदमे में फंसाने का डर दिखाकर हड़पे रुपये

उत्तराखंड के ऋषिकेश के निकट मुनि की रेती क्षेत्र में महिला एसआई दीपा रानी ने एक व्यक्ति को मुकदमे में फंसाने का डर दिखाकर उससे पांच लाख रुपये ऐंठ लिए थे। 27 जुलाई 2018 को जब यह मामला सामने आया तो पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। उसी दिन मुकदमा दर्ज कर जांच हुई तो आरोप सही पाए गए। इसके तीन दिन बाद यानी 30 जुलाई को एसआई दीपा रानी को तत्काल निलंबित कर दिया गया था। पुलिस ने भले ही एसआई को निलंबित कर दिया, मगर उनके कारण खाकी पर दाग जरूर लग गया।

केस 2 : बच्ची के साथ की अश्लील हरकत

हल्द्वानी में ही 6 sep 2021 को एक और दारोगा ने हैवानियत की सभी हदों को पार करते हुए खाकी को शर्मसार कर दिया था। मुखानी थाने में एएसआई मदन बिष्ट ने एक बच्ची के साथ अश्लील हरकतें कर डाली थीं। वह कई दिनों से यह गंदी हरकतें कर रहा था, जिसे एक दिन बच्ची के घर वालों ने पकड़ लिया और सबूत के तौर पर वीडियो भी बना लिया। इसके बाद दरोगा की जमकर पिटाई भी कर डाली। दारोगा की पिटाई का यह वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल भी हुआ था। हालाकि एसएसपी ने दारोगा को सस्पेंड कर खाकी पर लगे दाग को साफ करनेे की कोशिश की थी।

केस 3: दुष्कर्म पीड़िता से संबंध बनाने और पांच लाख की डिमांड

हल्द्वानी का यह केस काफी चर्चित रहा। इसने पूरे प्रदेश का हिलाकर रख दिया था। बात मुखानी थाने में तैनात दारोगा दीपक बिष्ट की है। उन्होंने दुष्कर्म पीड़िता से उसके आरोपी काे पकड़ने के बदले उससे शारीरिक संबंध बनाने और पांच लाख रुपये की डिमांड कर दी थी। दरसअल, पीड़िता ने एनएसयूआई के पूर्व जिलाध्यक्ष तरुण शाह पर उससे दुष्कर्म करने और धमकाने का आरोप लगाया था। जब वह इसकी शिकायत करने और मुकदमा दर्ज कराने मुखानी थाने पहुंची तो तत्कालीन थाना प्रभारी दीपक बिष्ट ने आरोपी को पकड़ने के बदले पीड़िता से शारीरिक सबंध बनाने और पांच लाख रुपये की डिमांड रख दी। इस पर उसने 13 पन्नों में अपनी आपबीती लिखकर डीजीपी से शिकायत कर दी और फिर हाई कोर्ट में भी याचिका दायर कर दी, जिसने पूरे प्रदेश में हड़कंप मचा दिया। जिसके बाद 20 जुलाई 2022 को दारोगा को संस्पेंड कर दिया गया।

केस 4: कोतवाल पर लगा दुष्कर्म का आरोप

ऊधम सिंह नगर के जसपुर कोतवाली में तैनात कोतवाल अशोक कुमार पर 29 सितंबर 2022 को एक महिला ने दुष्कर्म का आरोप लगाया था। उसने कार्रवाई की मांग लेकर डीजीप से मुलाकात की थी और सबूत के दौरान एक वीडियाे भी सौंपा था। जिसमें निरीक्षक अशोक कुमार महिला के साथ दिखाई दे रहे थे। इसके बाद अगले ही दिन कोतवाल को निलंबित कर दिया गया था। जसपुर कोतवाल अशोक कुमार पूर्व में कोतवाली के निरीक्षक थे, जहां उन पर कांग्रेसियों के उत्पीड़न का आरोप भी लगा था।

केस 5 : महिला को जड़ दिया थप्पड़

ऊधम सिंह नगर के गदरपुर में पुलिस की एक हरकत ने वर्दी पर दाग लगा दिया। 28 सिंतबर 2022 की देर रात गदरपुर थाना प्रभारी राजेश कठायत बाइक चोरी के मामले में कोपा ठंडा नाला गांव में दबिश देने गए थे। इसी दौरान ग्रामीणों ने उन्हें घेर लिया। इनमें कई महिलाएं भी थीं। इस पर थाना प्रभारी ने आपा खो दिया और एक महिला को थप्पड़ जड़ दिया। जिसका वीडियो देखते ही देखते वायरल हो गया। हालांकि थाना प्रभारी महकमे के काम के लिए ही मौके पर गए थे, मगर उनके महिला को थप्पड़ मारने की घटना के कारण उनकी आलोचना शुरू हो गई। अगले ही दिन लोग एसपी के पास शिकायत लेकर पहुंच गए और कार्रवाई की मांग करने लगे।

केस 6 : भाजपा नेता को पीटा

ऊधम सिंह नगर के पंतनगर थाना क्षेत्र के नगला में 29 सितंबर 2022 को एक पुलिस कर्मी ने भाजपा के नगला बूथ अध्यक्ष को थप्पड़ मार दिया। इससे आसपास के लोग और भाजपा नेता के समर्थक भड़क गए। सभी पुलिस कर्मी पर नशे में होने का आरोप भी लगा रहे थे। कहा कि झूठी कॉल करने का आरोप लगाकर पुलिस कर्मी ने अपनी वर्दी का रौब दिखाया। इससे लोगोेेें ने पुलिस के खिलाफ आक्रोश फैल गया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.