हाथी का आंतक : परिवार की चिंता के बीच मौत से साक्षात्कार
बुधवार की सांय करीब नौ बजे दिन भर हाड़ तोड़ मेहनत कर मजदूर सोने की तैयारी में थेद्ध
संस, लालकुआं : बुधवार की सांय करीब नौ बजे, दिन भर हाड़ तोड़ मेहनत कर मजदूर सोने की तैयारी में थे। कई मजदूर तो नींद की आगोश में चले भी गए थे। बीड़ी सुलगाते हुए मजदूर गांव की याद ताजा कर आपस में बतिया रहे थे। इसी बीच बीड़ी की लंबी कस लेते हुए कुशीनगर के राम बहादुर ने बगल में लेटे राघव से कहा कि कोरोना के बाद से रोजगार खत्म सा हो गया था। अब गौला नदी में मजदूरी कर घर को कुछ तो खर्चा चलेगा। करवट बदल कर पीठ के बल सोते हुए भुटेली ने कहा कि में तो सबसे पहले बच्चों की फीस जमा करूंगाद्ध
तभी झोपड़ी के हिलने लगी तो मजदूरों ने सोचा भूकंप आ गया है। लेकिन दूसरे ही पल आंखों के आगे से झोपड़ी की जगह खुला आसमान नजर आने लगा। कोई कुछ समझ पाता इससे पहले आंखों के सामने हाथी का सूंड लहराने लगा। आनन फानन में एक दूसरे को उठाते हुए इधर उधर भागने लगे। लेकिन तब तक एक विशालकाय हाथी ले भुटेली के सीने में पैर रख दिया। जबकि दूसरे ने सूंड से केदार व अनरुद्ध को देर पटक दिया। जिससे केदार का जबड़ा टूटने के साथ ही अनरुद्ध को गंभीर चोटें आ गई। जबकि भागते समय राघव भी घायल हो गया। घायल मजदूर राघव ने बताया कि हाथियों के हमले के दौरान ऐसा लग रहा था मानों मौत सामने खड़ी है। चार हाथी झोपड़ियों को रौंदते हुए मजदूरों को दौड़ा रहे थे। मजदूर व ग्रामीणों इधर उधर भाग रहे थे। इधर शोरगुल सुनकर गांव वाले व अन्य मजदूर बचाने आए तो आक्रमक हो चुके हाथियों ने गांव वालों को ही दौड़ा दिया। रावत नगर निवासी ग्रामीण देबेंद्र मेहता ने बताया कि उसे हाथी काफी देर तक दौड़ाया। इस दौरान तार बाढ़ के कूदते समय उसके पैर में चोट भी आई है। इधर हाथियों के आतंक से क्षेत्रवासियों में दहशत फैली है।
एक दिन पहले बौड़खत्ता व खमारी खत्ता में मचाया था आतंक
सोमवार की रात को हाथियों ने डौली रेंज के जंगल में बसे खमारीखत्ता निवासी ग्रामीण दीवान सिंह, प्रेम राम, चंदन सिंह, सुरेश सिंह व बौडखत्ता निवासी किशन सिंह व कुंदन सिंह निवासी के झोपड़ियों को रौंदकर नष्ट कर दिया। हाथियों ने ग्रामीणों के राशन व रोजमर्रा के सामान को भी तहस नहस कर दिया। सौभाग्य से कोई जनहानि नही हुई। इसके अलावा बरेली रोड़ के गांवों में हाथी लोगों के खलियानों में तक पहुंचने लगे है। जिससे क्षेत्रवासियों में दहशत व्याप्त है।