हैवी इंजन की बाइक दौड़ाकर नियमों का उल्लंघन कर रहे हैं स्कूली बच्चे, ये है नियम
बच्चों के लाड़-प्यार और जिद में उनके अभिभावक बिना गियर वाली हैवी गाड़ी खरीदकर उनकी मांगों को पूरा तो कर रहें है लेकिन इसके पीछे मानकों की भी भरपूर धज्जियां उड़ा रहे हैं।
हल्द्वानी, शहबाज अहमद : बच्चों के लाड़-प्यार और जिद में उनके अभिभावक बिना गियर वाली हैवी गाड़ी खरीदकर उनकी मांगों को पूरा तो कर रहें है, लेकिन इसके पीछे मानकों की भी भरपूर धज्जियां उड़ा रहे हैं। यातायात नियमों के आधार पर 16 से 18 उम्र के बीच जो लाइसेंस बनते हैं, वे बिना गियर वाली गाड़ी के लिए बनते हैं। लेकिन उसके लिए एक शर्त यह भी होती है कि गाड़ी सौ सीसी की होनी चाहिए। हाल ही में नए नियम सरकार ने पारित किए, जिसके तहत अगर जांच हुई तो बच्चे ही नहीं, अभिभावक भी फंस जाएंगे।
इन दिनों स्कूली बच्चों में वाहन का क्रेज बढ़ रहा है। ऐसे में आठवीं या फिर उससे भी कम उम्र के बच्चों में गाड़ी से घूमने का उत्साह पनप रहा है, जहां उनके मां-बाप उनकी डिमांड पूरी करने में पीछे नहीं हट रहे हैं। ऐसे में हादसा का भी खतरा बना रहता है। इन्ही हादसों को रोकने और लोग ट्रैफिक नियमों के मुताबिक सुरक्षित सफर करें, इसके लिए नए कानून बनाए गए हैं। इसके तहत यदि बिना लाइसेंस या नियम के विरूद्ध किशोर पकड़ा गया तो उनके अभिभावक पर मोटा जुर्माना लगाने के साथ उन्हें दो साल के लिए जेल भी भेजा जा सकता है।
अभिभावकों पर होगी कार्रवाई
संदीप वर्मा, आरटीओ अधीक्षक ने बताया कि बिना गियर वाले वाहनों के लिए नियम यह है कि वाहन का इंजन सौ सीसी से कम हो। लेकिन अभिभावक अपने बच्चों की सौ सीसी से हैवी वाहन की मांग पूरी कर रहे हैं। ऐसे में अगर जांच हुई तो मानक के अनुसार उनका लाइसेंस अमान्य माना जाएगा और अभिभावक कार्रवाई की जद में आ जाएंगे।
ऑटो के पहियों में लगे लोहे के एंगल से हो रहे हादसे
शहर में ऑटो चालकों का एक 'शौक' दूसरे लोगों पर भारी पड़ रहा है। मनमाने ढंग से सड़कों पर फर्राटे भर रहे ये ऑटो लोगों के लिए दुर्घटना का कारण बन रहे हैं। महानगर में दो हजार से अधिक ऑटो रोजाना चलती हैं, इसमें से अधिकतर ऑटो चालकों ने अपने वाहनों के पहियों में लोहे के एंगल लगा रखे हैं, जिससे राहगीरों का सड़कों पर चलना मुश्किल हो गया है। इससे वाहनों को भी काफी नुकसान पहुंच रहा है। इसके बाद भी पुलिस व परिवहन विभाग कार्रवाई करने को तैयार नहीं। शहर का बनभूलपुरा, पटेल चौक, कालाढूंगी चौराहा, बस स्टैंड का इलाका हो या फिर कोई और, मगर इन सब जगहों पर लोहे के एंगल लगे ऐसे कई ऑटो रोजाना देखे जा सकते हैं। चालक अपने शौक के लिए ये एंगल लगा रहे हैं, या फिर ट्रैफिक में अपने वाहन के बचाव के लिए, इसका मकसद जो भी हो, मगर ये दूसरों के लिए खतरनाक साबित हो रहा है। इससे कई लोगों के पैरों में चोटें भी लग चुकी हैं। यही नहीं जाम के दौरान दूसरी गाडिय़ों को भी नुकसान पहुंच रहा है।