धरने पर बैठे रोडवेज कर्मचारियों के तेवर देख भागे अफसर, कर्मी 10 दिन बाद करेंगे चक्का जाम nainital news
कार्यशाला परिसर में अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन पर बैठे यूनियन कर्मचारियों को देख अधिकारी दोपहर करीब एक बजे ही दफ्तरों में ताला लगाकर रवाना हो गए।
हल्द्वानी, जेएनएन : काठगोदाम स्थित परिवहन निगम की मंडलीय कार्यशाला में शुक्रवार को अधिकारियों के गैर जिम्मेदार रवैये का एक अजीब नजारा देखने को मिला। कार्यशाला परिसर में अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन पर बैठे यूनियन कर्मचारियों को देख अधिकारी दोपहर करीब एक बजे ही दफ्तरों में ताला लगाकर रवाना हो गए। शाम तक अधिकारियों के न आने पर कर्मचारियों ने धरना चालू रखते हुए मांगें न जाने पर शनिवार मध्य रात्रि से पूरे कुमाऊं में बसों का चक्का जाम करने का एलान कर दिया। हालांकि इसके बाद दून में अफसरों से शिष्टमंडल ने वार्ता की, जिसके बाद चक्का जाम का फैसला 10 दिनों के लिए टाल दिया गया।
उत्तरांचल रोडवेज कर्मचारी यूनियन की कुमाऊं मंडल के पदाधिकारियों ने शुक्रवार को मांगों को लेकर मंडलीय कार्यशाला में धरना प्रदर्शन आयोजित किया। प्रांतीय अध्यक्ष कमल पपनै व संचालन क्षेत्रीय मंत्री राम अवध के नेतृत्व में हुए इस प्रदर्शन में मंडलीय अध्यक्ष एलडी पालीवाल ने कहा कि दो माह से वेतन न मिलने से कर्मचारियों के सामने परिवार का पालन-पोषण करना मुश्किल हो गया है। हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद 66 करोड़ की धनराशि व समय पर वेतन न देने से निगम प्रबंधक और राज्य सरकार से विश्वास उठ गया है। पालीवाल ने कहा कि रोडवेज में अधिकांश चालक-परिचालक यूनियन के सदस्य हैं। ऐसे में अगर यूनियन आंदोलन करेगी तो पूरे कुमाऊं मंडल में संचालन व्यवस्था प्रभावित होगी। इसकी पूरी जिम्मेदारी निगम प्रबंधन की होगी। प्रदर्शन में पूरे कुमाऊं मंडल से रघुवीर चौधरी, आरएस नेगी, नरेश पाल, जावेद अली, आनंद बिष्ट, मनोज भट्ट, ओमप्रकाश तिवारी, मुकेश शर्मा, वीरेंद्र सिंह, रंजीत सिंह, जमालुद्दीन, पुष्पेंद्र चौधरी, आफताब, अख्तर चौधरी, ओमप्रकाश, रणजीत सिंह , मो हारून, ललित प्रसाद, दयाल जोशी, सुरेश प्रसाद, संदीप बिष्ट आदि शामिल रहे।
यूनियन की प्रमुख मांगें
- निगम बस स्टेशनों से डग्गामारी तत्काल बंद की जाए
- हल्द्वानी बस स्टेशन से पहाड़ व मैदानी मार्गों पर बंद पड़ी सेवाओं को पुन: सुचारु किया जाए
- कर्मचारियों का लंबित भुगतान तत्काल किया जाए
- आइएसबीटी देहरादून बस अड्डे के स्वामित्व रोडवेज को हस्तांतरित की जाए
- चालक-परिचालकों का ढाबा, कम आय, डीजल औसत को लेकर उत्पीडऩ बंद किया जाए
- 15 वर्षों से विभाग में कार्य कर रहे विशेष श्रेणी व संविदा के चालक-परिचालक के साथ कार्यशाला कर्मचारियों को नियमित किया जाए।
आरएम यशपाल सिंह ने बताया कि विभागीय कार्य को लेकर कार्यशाला के अधिकारी काठगोदाम व हल्द्वानी डिपो में गए हुए थे। डिपो के अधिकारियों से कार्य संबंधित वार्ता व जांच करने में देरी हो जाने से अधिकारी डिपो में ही व्यस्त हो गए थे, जिस कारण कार्यशाला में उनकी मौजूदगी नहीं थी।
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