Uttarakhand Chunav 2022 : प्रत्याशी तो बनीं पर तराई में अब तक किसी महिला के सिर पर नहीं सजा विधायक का ताज
Uttarakhand Vidhan Sabha Chunav 2022 आधी आबादी होने के बाद भी चार बार विधानसभा चुनाव में एक भी महिला के सिर पर विधायक का ताज नहीं सज पाया है। हालांकि इस दौरान भाजपा ने तीन और कांग्रेस ने दो महिलाओं को उम्मीदवार बनाया था।
जासं, रुद्रपुर: खेती किसानी के साथ ही आर्थिक रुप से संपन्न ऊधम ङ्क्षसह नगर में महिलाओं की सहभागिता कम नहीं है,मगर जब जनप्रतिनिधित्व की बारी आती है तो उन्हें उपेक्षा का शिकार होना पड़ता है। आधी आबादी होने के बाद भी चार बार विधानसभा चुनाव में एक भी महिला के सिर पर विधायक का ताज नहीं सज पाया है। हालांकि इस दौरान भाजपा ने तीन और कांग्रेस ने दो महिलाओं को उम्मीदवार बनाया था। जातीय व धार्मिक समीकरण के आधार पर टिकट वितरण किया जाता है। मगर आधी आबादी पर किसी दल की नजर नहीं आती है। आखिर कब तक महिलाओं को वोटबैंक के रुप में इस्तेमाल किया जाता रहेगा।
यूएस नगर की करीब 21 लाख की आबादी है। 1297939 मतदाता है। इनमें 622468 महिला मतदाता है। तराई में महिलाएं पुरुषों के साथ हर काम में सहयोग करती रहती हैं। राजनीति में भी बढ़चढ़ कर हिस्सा लेती हैं। मगर उन्हें जनप्रतिनिधित्व का मौका नहीं दिया जाता है। राज्य बनने के बाद वर्ष,2002 में हुए विधानसभा चुनाव में जसपुर से निर्दल से ऊषा रानी व उजेपी से अनुराधा, पंतनगर गदरपुर में निर्दल से राजेंद्र कौर, रुद्रपुर में निर्दल से रीता, सितारगंज में भाजपा से सुषमा राणा भाग्य आजमाया था। इसी तरह वर्ष, 2007 में जसपुर में निर्दल से ऊषा रानी, गीता व एनबीएनपी से सुषमा चौहान, काशीपुर में जेएम से बीना किशोर, पंतनगर गदरपुर में निर्दल चंद्रा ङ्क्षसह व दीप्ति महाजन, रुद्रपुर में निर्दल से जैतून, वर्ष, 2012 में बाजपुर में एलजेपी से अनीता, रुद्रपुर से उजेपी से रानी देवी, सितारगंज में यूकेडीपी से शाहीन खान, नानकमत्ता में एसपी से अनुसूइया और वर्ष, 2017 में जसपुर से निर्दल से सीमा चौहान, बाजपुर में कांग्रेस से सुनीता बाजवा व मनीषा, गदरपुर में निर्दल परमजीत कौर, सितारगंज में निर्दल से ङ्क्षबदा विश्वास, कांग्रेस से मालती विश्वास, नानकमत्ता में निर्दल सुनीता राणा, गीतावती व एसपी अनूसूइया चुनाव मैदान में थीं। कांग्रेस व भाजपा के साथ अन्य दल कभी 30 फीसद तो कभी 33 फीसद प्रत्याशी बनाने का वादा करती है,मगर टिकट वितरण में महिलाओं को प्राथमिकता नहीं दी जाती है। महिलाओं को एक हजार रुपये भत्ता देने की घोषणा करने वाली आप भी जिले में एक भी महिला को प्रत्याशी नहीं बनाया है। महिलाओं को सिर्फ वोटबैंक के रुप में ही राजनीतिक दल इस्मेमाल करते रहे हैं। इस बार भी भाजपा से दमदार तरीके से कोई महिला ने दावेदारी नहीं की है। रुद्रपुर से सिर्फ मोनिका गुप्ता ने दावेदारी की है, मगर टिकट की होड़ में वह नहीं है। काशीपुर से कांग्रेस से मुक्ता ङ्क्षसह व रुद्रपुर से मीना शर्मा ने दावेदारी की है।