India-Nepal Border Dispute: नेपाल ने नहीं हटाया कैमरा, बॉर्डर पर रख रहा नजर
सएसबी और जिला प्रशासन की आपत्ति के बाद भी टनकपुर बैराज के निकट नो मैंस लैंड पर लगाए कैमरों को नेपाल ने नहीं हटाया है।
चम्पावत, जेएनएन: नेपाल ने एसएसबी और जिला प्रशासन की आपत्ति के बाद भी टनकपुर बैराज के निकट नो मैंस लैंड पर लगाए कैमरों को नहीं हटाया है। इनकी मदद से वह लगातार सीमा पर नजर रखे हुए है। 22 जुलाई को नेपाली नागरिकों ने भारत-नेपाल बॉर्डर के नो मैंस लैंड पर अतिक्रमण कर तारबाड़ व पौधारोपण कर लिया था। नेपाल की हिमाकत यहीं नहीं रुकी। ब्रह्मदेव बाजार के बाहर नो मैंस लैंड पर निगरानी के लिए कैमरा भी लगा दिया। एसएसबी ने तारबाड़ के साथ कैमरे को भी हटाने के लिए कहा। इसपर नेपाली नागरिक आक्रोशित हो उठे।
इसे लेकर चम्पावत जिला प्रशासन के आग्रह पर नेपाल कंचनपुर प्रशासन ने मौके का निरीक्षण। इसके बाद दोनों देशों के अधिकारियों के बीच मंगलवार को बनबसा एसएसबी कैंप में बैठक हुई। इसमें भारतीय प्रशासन ने अंतरराष्ट्रीय सीमा से कैमरा हटाने के लिए कहा। इसपर नेपाल सहमत भी हो गया, लेकिन अभी तक उसने कैमरों को सीमा से नहीं हटाया है।
तो एसएसबी ने भी दिखाई सुस्ती
बैठक में मौजूद अधिकारियों के अनुसार नेपाल प्रशासन ने कहा था कि एसएसबी मौके पर पहुंचकर कैमरों की लोकेशन जांच सकती है। अगर एसएसबी ने कहा तो कैमरों की दिशा बदल देंगे या फिर हटा देंगे, लेकिन अभी तक एसएसबी का कोई भी अधिकारी कैमरों को चेक करने ही नहीं गया।
नेपाल ने नो मैंस लैंड पर कैमरा लगाया है या नहीं, यह सर्वे के बाद ही तय होगा। नेपाल ने एसएसबी से कैमरे की जांच करने के लिए कहा है। अगर एसएसबी को गलत लगता है तब उन्होंने कैमरे की दिशा बदलने या फिर हटाने के लिए कहा है। एसएसबी को कैमरा चेक करने के लिए कहा है। मिसिंग पिलर के संबंध में भी शासन को पत्र भेजा जा रहा है। -लोकेश्वर सिंह, एसपी, चम्पावत
नेपाल ने कैमरा चेक करने के लिए कहा है। हमने अभी कैमरा चेक नहीं किया है। चेक करने के बाद ही कुछ कह सकते हैं। -आरके त्रिपाठी, कमांडेंट, एसएसबी
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