इंदिरा हृदयेश ने कहा, केदारनाथ आपदा को लेकर चिंतित रहते थे प्रणब मुखर्जी
नेता प्रतिपक्ष डॉ. इंदिरा हृदयेश ने कहा कि 2013 में केदारनाथ आपदा के बाद वह बचाव व नवनिर्माण के कामों को लेकर अक्सर तत्कालीन मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा से जानकारी लिया करते थे।
हल्द्वानी, जेएनएन : नेता प्रतिपक्ष डॉ. इंदिरा हृदयेश ने पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के निधन को एक युग का अंत बताते हुए कहा कि 2013 में केदारनाथ आपदा के बाद वह बचाव व नवनिर्माण के कामों को लेकर अक्सर तत्कालीन मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा से जानकारी लिया करते थे। इस आपदा से किस तरह प्रदेश उभरेगा। इसे लेकर वह चिंतित भी रहते थे।
इंदिरा के मुताबिक कांग्रेस की तरफ से राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनने पर प्रणव मुखर्जी उत्तराखंड भी आए। उस दौरान प्रदेश में कांग्रेस की सरकार थी। लिहाजा, हमने पूरा प्रयास किया कि उन्हें ज्यादा से ज्यादा समर्थन मिले। नेता प्रतिपक्ष डॉ. इंदिरा हृदयेश ने कहा कि राजनीति, अर्थशास्त्र, विदेश नीति के साथ वह संविधान के भी बड़े ज्ञाता थे। संसदीय जीवन में भी वह पक्ष-विपक्ष सभी की बात इत्मीनान से सुनते थे। कांग्रेस जब भी संकट में आई तो वह उस संकट को सुलझाने में वह माहिर थे। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि पूर्व राष्ट्रपति की सबसे बड़ी खासियत सामने वाले के गुणों को पहचान सम्मान देने की थी।
हल्द्वानी की गुरवीन ने प्रणब को बुक भेंट की थी
समाजसेवी गुरविंदर चड्ढा की बेटी गुरवीन कौर ने पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से चाय पर गुफ्तगू करने के साथ उन्हें बुक भी भेंट की थी। पूर्व राष्ट्रपति ने अपने आवास पर बुलाकर गुरवीन व उनकी टीम से एक घंटे तक बात की थी। प्रसिद्ध अभिनेत्री मनीष कोईराला की किताब का संपादन भी कर चुकी गुरवीन ने बताया कि फरीदाबाद में आयोजित एक कार्यक्रम में उनकी टीम ने पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को बतौर मुख्य अतिथि आमंत्रित किया था। मगर तबीयत खराब होने की वजह से वह आ नहीं सके। जिसके बाद 16 सितंबर 2018 को प्रणब द्वारा चाय पर आमंत्रित करने पर वह उनके सरकारी आवास मिलने पहुंची। जहां एक घंटे तक उन्होंने चर्चा की। इस दौरान पूर्व राष्ट्रपति ने अपने अनुभवों को लेकर भी बात की थी।
भारतीय राजनीति का एक स्तंभ दुनिया से विदा
डॉ. एससी अग्रवाल, पूर्व आयकर आयुक्त पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी के निधन से भारतीय राजनीति का एक स्तंभ दुनिया से विदा हो गया। वह पूर्व पीएम अटल की तरह सर्वमान्य, शालीन और कर्मठ थे। वह सही मायने में भारत रत्न थे। प्रवक्ता प्रदेश कांग्रेस दीपक बल्यूटिया ने कहा कि पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी का निधन देश के लिए बहुत बड़ी क्षति है। ज्ञान व कार्यशैली की वजह से वह सभी दलों में लोकप्रिय थे। सैद्धांतिक व न्यायप्रिय प्रणब बड़ी से बड़ी समस्याओं का चुटकियों में समाधान निकाल देते थे।