हार्इकोर्ट ने परिचालकों को बर्खास्त करने के आदेश पर लगार्इ रोक
हार्इकोर्ट ने परिवह विभाग के टिकट घोटाले में सुनवार्इ करते हुए परिचालकों की बर्खास्तगी के आदेश पर रोक लगा दी है।
नैनीताल, [जेएनएन]: हाईकोर्ट ने परिवहन निगम के बहुचर्चित टिकट घोटाला मामले में सुनवाई करते हुए परिचालकों को बर्खास्त करने के आदेश पर रोक लगाने के साथ ही उन्हें काम करने की अनुमति प्रदान कर दी। कोर्ट ने इस मामले में परिवहन निगम से तीन सप्ताह में जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।
चम्पावत निवासी धीरज सिंह फर्त्याल समेत 22 अन्य ने याचिका दायर कर कहा था कि वो उत्तराखंड परिवहन निगम की बसों के परिचालक हैं। परिवहन निगम मुख्यालय द्वारा उनको इस आधार पर बर्खास्त कर दिया कि उनके द्वारा सांसद कोटे के टिकट काटकर फर्जीवाड़ा कर सरकार को राजस्व का नुकसान पहुंचाया गया। याचिकाकर्ता का कहना था कि विभाग द्वारा उन्हें यह नहीं बताया गया था कि जो टिकट वरिष्ठ नागरिक के लिए निर्धारित थी, वह अब सांसद कोटे के लिए कर दी गई हैं। इस वजह से टिकटें सांसद कोटे की तरह काट दी गई।
न्यायाधीश न्यायमूर्ति लोकपाल सिंह की एकलपीठ ने मामले को सुनने के बाद परिचालकों के बर्खास्तगी के आदेश पर रोक लगा दी। उन्हें काम करने की अनुमति प्रदान करते हुए परिवहन निगम से तीन सप्ताह में जवाब दाखिल करने के आदेश पारित किए हैं। आपको बता दें कि पिछले दिनों परिवहन निगम ने संविदा व विशेष श्रेणी के 30 परिचालकों को टिकट घोटाला मामले में बर्खास्त कर दिया था जबकि पांच नियमित परिचालकों को निलंबित कर दिया था। कोर्ट के फैसले से बर्खास्त व निलंबित परिचालकों को बड़ी राहत मिली है।
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