वन विभाग के फील्डकर्मियों पर पेट्रोलिंग एप के जरिए रखी जाएगी नजर nainital news
ज्वाइनिंग के बाद हल्द्वानी डिवीजन के डीएफओ कुंदन कुमार ने सबसे पहले जंगल की गश्त पर फोकस किया है।
हल्द्वानी, जेएनएन : ज्वाइनिंग के बाद हल्द्वानी डिवीजन के डीएफओ कुंदन कुमार ने सबसे पहले जंगल की गश्त पर फोकस किया है। प्रभाग की सभी रेंज में तैनात फील्डकर्मियों को निर्देश दिए गए है कि सभी अपने फोन में पेट्रोलिंग एप डाउनलोड कर लें। इस एप की खासियत यह है कि स्टाफ ने फील्ड में कहां गश्त की, इसकी पूरी डिटेल पता चल जाएगी। अपनी-अपनी रेंज के वाट्सएप गु्रप में गश्त के बाद वनकर्मी को लोकेशन डालनी होगी। अक्सर जंगल में पेट्रोलिंग को लेकर लापरवाही बरतने वाले कर्मचारी अब कोई बहाना नहीं बना सकेंगे।
आइएफएस कुंदन ने संभाली जिम्मेदारी
2017 बैच के आइएफएस अफसर कुंदन कुमार ने हाल में अल्मोड़ा से हल्द्वानी डिवीजन की जिम्मेदारी संभाली है। प्रभाग की पांचों रेंज दुर्गम व घने जंगलों वाली है। वनसंपदा व वन्यजीवों की अधिकता के कारण सुरक्षा की चुनौती भी ज्यादा है। ऐसे में गश्त को मजबूत और पारदर्शी बनाने के लिए डीएफओ ने सभी फील्ड स्टाफ को मोबाइल में 'एम स्ट्रिप्स' एप डाउनलोड करने को कहा है, ताकि पेट्रोलिंग का पूरा रिकॉर्ड रह सके। फॉरेस्टर, फॉरेस्ट गार्ड, डिप्टी रेंजर से लेकर रेंजर तक को अपनी लोकेशन देनी होगी।
अब एक रूट को छोडऩा होगा
वनकर्मी अक्सर जंगल में गश्त के दौरान एक ही रूट का इस्तेमाल करते हैं। इससे दूसरा क्षेत्र छूट जाता है। एप में रूट चार्ट का जिक्र करना जरूरी है। ऐसे में अब बड़े क्षेत्र में पेट्रोलिंग करना जरूरी हो जाएगा। वनकर्मी का नाम और बीट सभी रिकॉर्ड इसमें रहेंगे।
पांच रेंज के वाट्सएप में मिलेगा डाटा
डीएफओ ने हर रेंज का एक वाट्सएप गु्रप बनवाया है, जिससे वह खुद भी जुड़े हैं। जीपीएस से चलने वाले इस एम स्ट्रिप एप में लोकेशन फीड होने के बाद उसे गु्रप में सार्वजनिक करना होगा। वनकर्मी जंगल में शस्त्र के साथ है या निहत्था, यह जिक्र भी एप में होगा।
वन्यजीवों का मूवमेंट पता चलेगा
जंगल के किस क्षेत्र में हाथीं या किस क्षेत्र में बाघ-गुलदार की सक्रियता ज्यादा है, एप से इस बात का भी पता चल सकेगा। रास्ते में मिलने वाले पगमार्ग से उसका पता चलेगा। वन्यजीवों का मूवमेंट पता चलने के कारण खास क्षेत्र में उनकी सुरक्षा को लेकर प्लानिंग बनेगी।
तिकोनिया परिसर अब आठ कैमरों की जद में
तिकोनिया फॉरेस्ट परिसर से आधा दर्जन बार चंदन पेड़ कटने की घटना सामने आ चुकी है। अब डीएफओ कुंदन कुमार ने परिसर में आठ कैमरे लगाने के साथ ही उन्हें मोबाइल से भी कनेक्ट कराया है, जिससे 24 घंटे परिसर की निगरानी चेक होगी।
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