जागरण संवाददाता, हरिद्वार: Uttarakhand Paper Leak: जेई-एई भर्ती परीक्षा के प्रश्नपत्र लीक मामले की छानबीन के दौरान भाजपा नेता संजय धारीवाल की कॉल डिटेल कइयों छिपे चेहरों को बेनकाब कर सकती है।
हो सकती है संजय धारीवाल सहित उसके कई करीबियों की भी गिरफ्तारी
सूत्रों के अनुसार एसआइटी इस मामले में तेजी से जांच कर रही है। कॉल डिटेल के आधार पर भाजपा नेता समेत अन्य आरोपितों के संपर्क में आए लोग भी राडार पर है। माना जा रहा है कि साक्ष्य जुटाने के साथ ही संजय धारीवाल सहित उसके कई करीबियों की भी गिरफ्तारी हो सकती है।
जेई-एई की परीक्षा में प्रश्नपत्र लीक करने के मामले में नारसन ब्लॉक के मोहम्मदपुर जट के ग्राम प्रधान समेत नौ आरोपितों पर मुकदमा दर्ज होने के बाद से भाजपा में भी उथल-पुथल मची है।
अब मामले में आरोपित बनाए गए सभी आरोपितों की कॉल डिटेल खंगाली जा रही है। इससे जहां एक ओर उन अभ्यर्थियों की जानकारी हासिल की जा रही है, जिन्होंने इन प्रश्नपत्रों को खरीदा था।
साथ ही भाजपा नेता समेत अन्य आरोपितों के साथ फोन पर हुई बातचीत में शामिल लोगों का रिकार्ड भी खंगाला जा रहा है। बताया जा रहा है कि नारसन क्षेत्र में ही भाजपा नेता के साथ कुछ और युवा भी शामिल थे, जो छात्रों से सेटिंग गेटिंग कराने के साथ ही प्रश्नपत्र लीक किए जाने के मामले में शामिल थे। ऐसे में कॉल डिटेल के आधार पर एसआईटी जल्द ही कई अन्य को आरोपी बनाकर उनकी गिरफ्तारी कर सकती है।
पटवारी लीक कांड में भी जांच
एसआईटी ने अपनी जांच का दायरा बढ़ा दिया है। सूत्रों की माने तो एसआईटी की जांच इस दिशा में भी आगे बढ़ रही है कि जो आरोपित जेई-एई भर्ती परीक्षा में नामजद किए गए हैं। उनकी भूमिका पटवारी भर्ती के पेपर लीक मामले में थी या नहीं।
वैसे माना जा रहा है कि जिले में परीक्षाओं के पेपर लीक करने का धंधा काफी समय से चल रहा है और एक ही तरह का गैंग इन सभी परीक्षाओं में फर्जीवाड़ा कर रहा था। ऐसे में जल्द ही जेई-एई परीक्षा का पेपर लीक करने वालों की पटवारी पेपर लीक मामले में भूमिका उजागर होने उम्मीद है।
कानूनी राहत के चक्कर में भाजपा नेता
एसआइटी की पूछताछ के बाद भाजपा ने संजय धारीवाल से हाथ खींचने में देर नहीं की और तुरंत मंगलौर मंडल अध्यक्ष पद से इस्तीफा ले लिया। यह बात अलग है कि इस्तीफा लेने के बावजूद भाजपा की फजीहत कम नहीं हुई। कांग्रेस ने इसे मुद्दा बना लिया है। संगठन से दरकिनार होने के बाद भाजपा नेता व ग्राम प्रधान संजय धारीवाल ने गिरफ्तारी से बचने के लिए कानूनी रास्ता अपनाया।
सूत्र बताते हैं कि संजय धारीवाल ने जेल जाने से बचने के लिए पूरी ताकत लगाई हुई है। फिलहाल वह भूमिगत है, लेकिन ऐसा पता चला है कि उसके माध्यम से पेपर का सौदा करने वाले कई अभ्यर्थी बाकायदा परीक्षा पास कर चुके हैं। पेपर लीक की पोल न खुलती तो साक्षात्कार के बाद ये अभ्यर्थी जेई और एई बन चुके होते। सूत्र बताते हैं कि धारीवाल के खिलाफ ठोस सुबूत होने के चलते बहुत जल्द उसका जेल जाना तय है।