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सीएल के नाम पर चल रहा स्कूलों में बढ़ा खेल

जागरण संवाददाता, रुड़की: शिक्षा विभाग में सीएम (आकस्मिक अवकाश) के नाम पर बड़ा फर्जीवाड़ा चल रहा है। शिक

By JagranEdited By: Published: Mon, 11 Dec 2017 01:00 AM (IST)Updated: Mon, 11 Dec 2017 01:00 AM (IST)
सीएल के नाम पर चल रहा स्कूलों में बढ़ा खेल
सीएल के नाम पर चल रहा स्कूलों में बढ़ा खेल

जागरण संवाददाता, रुड़की: शिक्षा विभाग में सीएम (आकस्मिक अवकाश) के नाम पर बड़ा फर्जीवाड़ा चल रहा है। शिक्षक स्कूल में प्रार्थना पत्र रखकर चले जाते हैं। निरीक्षण के दौरान कोई अधिकारी आता है तो उसको प्रार्थना पत्र दिखा दिया जाता है, अन्यथा अगले दिन शिक्षक आकर उपस्थिति दर्ज करते हैं और प्रार्थनापत्र गायब हो जाता है। शिक्षामंत्री ने भी इस चालाकी को भांप लिया है। इसके बाद उन्होंने इस पर अंकुश लगाने के निर्देश दिए हैं।

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वैसे तो शिक्षक पूरे वर्ष अपनी जरूरतों के हिसाब से छुट्टी लेते रहते हैं, लेकिन दिसंबर नजदीक आने के साथ ही शिक्षकों में छुट्टी लेने की होड़ मच जाती है। इस छुट्टी में भी बड़ा खेल किया जा रहा है। जिले के कई सरकारी स्कूलों में तो प्रधानाचार्यों और हेडमास्टरों के हीलाहवाली या फिर उनकी मिलीभगत के चलते शिक्षक अवकाश का प्रार्थना पत्र दे देते हैं। इसके बाद शिक्षक छुट्टी पर चले जा रहे हैं। इस प्रार्थना पत्र को उपस्थिति पंजिका में रख दिया जा रहा है। यदि कोई अधिकारी आता है तो बता दिया जाता है कि शिक्षक छुट्टी पर है। जब पूछा जाता है कि रजिस्टर में क्यों नहीं चढ़ाया तो कोई न कोई बहाना कर टरकाने की कोशिश की जाती है। या फिर निरीक्षण की भनक लगने पर उसको रजिस्टर में अंकित कर दिया जाता है। शनिवार को शिक्षा मंत्री के निरीक्षक की भनक राजकीय इंटर कॉलेज के स्टाफ को नहीं लग पाई और मंत्री को इस बात की जानकारी पहले से ही थी। इस पर उन्होंने सबसे पहले उपस्थिति पंजिका को ही कब्जे में लेने के निर्देश दिए, जिसके बाद पाया गया कि पांच शिक्षक और दो बाबू गैरहाजिर हैं। इस संबंध में शिक्षा मंत्री मुख्य शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिए कि वह इस प्रवृत्ति पर रोक लगाएं। मुख्य शिक्षा अधिकारी डॉ. आरडी शर्मा ने बताया कि इस बावत सख्त निर्देश जारी किए हैं कि अवकाश स्वीकृत होने के बाद तुरन्त ही उसे उपस्थिति पंजिका में अंकित किया जाए। इसमें कोई हीलाहवाली बरतेगा तो उस पर कार्रवाई की जाएगी।

अधिकांश स्कूलों की बायोमेट्रिक मशीन ही खराब

शिक्षकों की शत-प्रतिशत उपस्थिति के लिए माध्यमिक स्कूलों में बायोमेट्रिक मशीन लगाने के निर्देश दिए हैं, लेकिन अधिकांश स्कूलों ने केवल दिखाने के लिए ही बायोमेट्रिक मशीन को लगाया है। कुछ जगह तो उसने सिस्टम से ही कनेक्ट नहीं किया गया है। अधिकांश जगह मशीन खराब पड़ी हुई है। राजकीय इंटर कॉलेज में भी शनिवार को कुछ ऐसे ही देखने को मिला। बायोमेट्रिक मशीन से हाजिरी की स्लिप ही नहीं निकल पा रही थी। इसमें छेड़छाड़ की आशंका देखते हुए उसे सीज कर दिया गया।


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