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मन की एकाग्रता के लिए योग और ध्यान जरूरी

परमार्थ निकेतन आश्रम के गंगा तट पर विशेष ध्यान साधना शिविर के शुभारंभ पर संत सुधांशु महाराज ने कहा कि मन को एकाग्र बनाने के लिए योग और ध्यान के साथ आत्मनिर्भर होना भी जरूरी है।

By sunil negiEdited By: Published: Sun, 13 Nov 2016 12:07 PM (IST)Updated: Sun, 13 Nov 2016 12:16 PM (IST)
मन की एकाग्रता के लिए योग और ध्यान जरूरी

ऋषिकेश, [जेएनएन]: परमार्थ आश्रम में ध्यान शिविर में बोलते हुए विश्व जागृति मिशन के संत सुधांशु महाराज ने कहा कि मन को एकाग्र बनाने के लिए योग और ध्यान के साथ आत्मनिर्भर होना भी जरूरी है। प्राणायाम और ध्यान की विधाओं का पूरी तरह से ज्ञान होना भी स्वास्थ्य लाभ को बढ़ाता है।

परमार्थ निकेतन आश्रम के गंगा तट पर चार दिवसीय विशेष ध्यान साधना शिविर का शनिवार को विधिवत शुभारंभ हो गया। इस दौरान परमार्थ आश्रम के परमाध्यक्ष स्वामी चिदानंद सरस्वती महाराज ने कहा कि यदि जीवन में चिंतित नहीं होना चाहते, तो अपने हृदय व मन में आध्यात्मिकता को जगह देना जरूरी है। हम अपने कमरों व दफ्तरों को सजाने में बहुत खर्चा करते हैं।

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किताबों व फोटो के लिए हमारे पास अच्छी-अच्छी आलमारियां होती हैं। यदि हमारा शरीर थक जाता है तो हम आराम करते हैं, किंतु हमारी दिनचर्या में हमारे हृदय, मन व भावनाओं के लिए कोई स्थान नहीं होता। मन की शांति और तनावमुक्त रहने के लिए ध्यान जरूरी है।

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इस दौरान विश्व जागृति मिशन के केंद्रीय सचिव देवराज कटारिया, यशपाल सचदेवा, मनोज शास्त्री, एसके चावला, राजकुमार तेवतिया, केके जैन, वामनराव गांधरे, राजेश कुमार दीक्षित, आचार्य दीपक शर्मा आदि उपस्थित थे।

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