Move to Jagran APP

उत्तराखंड:क्षेत्र विशेष में भूमि की खरीद-फरोख्त पर सरकार सख्त, शासन ने जारी किए ये निर्देश

कुछ क्षेत्रों में समुदाय विशेष की बढ़ती संख्या और इसके कारण वहां से पलायन की सूचनाओं के बाद शासन सक्रिय हो गया है। इस कड़ी में शासन ने पुलिस महानिदेशक सभी जिलों के डीएम व एसएसपी को निर्देश जारी किए हैं।

By Raksha PanthriEdited By: Published: Fri, 24 Sep 2021 06:44 PM (IST)Updated: Sat, 25 Sep 2021 08:04 AM (IST)
उत्तराखंड:क्षेत्र विशेष में भूमि की खरीद-फरोख्त पर सरकार सख्त, शासन ने जारी किए ये निर्देश
उत्तराखंड: कुछ क्षेत्रों में समुदाय विशेष की संख्या बढ़ने से हो रहा पलायन।

राज्य ब्यूरो, देहरादून। उत्तराखंड के कुछ क्षेत्रों में जनसख्ंया में भारी बढ़ोतरी से दिख रहे डेमोग्राफिक चेंज (जनसांख्यिकीय बदलाव) और इसके कारण पलायन की सूचनाओं के बाद सरकार सख्त हो गई है। इस कड़ी में शासन ने पुलिस महानिदेशक के साथ ही सभी जिलों के डीएम व एसएसपी को एहतियाती कदम उठाने के निर्देश दिए हैं। इसके तहत सभी जिलों में जिला स्तरीय समितियों के गठन, अन्य राज्यों से आकर बसे व्यक्तियों का सत्यापन और विदेशी मूल के जो लोग धोखे से भारतीय वोटर कार्ड अथवा पहचान पत्र बनवाकर रह रहे हैं, उन पर कार्रवाई समेत अन्य कदम उठाने को कहा गया है। सभी डीएम से यह भी कहा गया है कि क्षेत्र विशेष में भूमि की खरीद-फरोख्त पर विशेष निगरानी रखी जाए।

loksabha election banner

पलायन का दंश झेल रहे उत्तराखंड में पिछले कई दिनों से 'लैंड जिहाद' शब्द भी चर्चा में है। इंटरनेट मीडिया पर तो इसे लेकर बहस चल ही रही है। हालिया दिनों में विभिन्न संगठनों के साथ ही भाजपा की ओर से भी इस संबंध में शिकायतें सरकार को मिलीं। शिकायतों के मुताबिक उत्तर प्रदेश की सीमा से लगे हरिद्वार, देहरादून, पौड़ी, नैनीताल, ऊधमसिंह नगर के साथ ही चमोली, रुद्रप्रयाग, उत्तरकाशी समेत कुछ अन्य जिलों में डेमोग्राफिक चेंज देखने में आ रहा है।

बात सामने आई कि इन क्षेत्रों में विभिन्न व्यवसायों के नाम पर समुदाय विशेष के व्यक्तियों की संख्या बढ़ी है और ये वहां रहने भी लगे हैं। नतीजतन, कतिपय समुदाय के व्यक्तियों ने पलायन भी किया है। ऐसे में वहां सांप्रदायिक माहौल बिगडऩे की संभावना बनी हुई है। इस बीच जुलाई में भाजपा नेता अजेंद्र अजय ने भी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मुलाकात के दौरान यह विषय रखा था।

लगातार मिल रही इस प्रकार की शिकायतों की सरकार ने फौरी जांच कराई, जिसमें कुछ क्षेत्रों में इसकी पुष्टि हुई। इसके बाद अब शासन ने निर्देश जारी किए हैं। सभी डीएम व एसएसपी से कहा गया है कि वे अपने-अपने जिले में जिला स्तरीय समिति गठित करें, जो इस समस्या के निदान के लिए सुझाव देंगी। संबंधित क्षेत्रों में शांति समितियां गठित कर समय-समय पर इनकी बैठकें करने को कहा गया है।

यह भी निर्देश दिए गए हैं कि सभी जिलों में ऐसे क्षेत्र चिह्नित कर वहां रह रहे असामाजिक तत्वों के खिलाफ कार्रवाई अमल में लाई जाए। साथ ही जिलेवार ऐसे व्यक्तियों की सूची तैयार की जाए, जो अन्य राज्यों से आकर यहां बसे हैं और उनका आपराधिक इतिहास है। ऐसे व्यक्तियों के व्यवसाय और मूल निवास का सत्यापन कर उनका रिकार्ड तैयार किया जाए।

जिलाधिकारियों से कहा गया है कि वे इन क्षेत्र विशेष में भूमि की खरीद-फरोख्त पर खास निगरानी रखने के साथ ही यह भी देखें कि कोई स्थानीय व्यक्ति किसी भय अथवा दबाव में अपनी संपत्ति तो नहीं बेच रहा है। साथ ही ऐसे व्यक्तियों का रिकार्ड तैयार कर नियमानुसार कार्रवाई करने को भी कहा गया है, जो विदेशी मूल के हैं और उनके द्वारा यहां धोखे से भारतीय वोटर कार्ड अथवा पहचान पत्र बनवाए गए हैं।

अपर मुख्य सचिव गृह आनंद बर्द्धन ने बताया कि शासन को लगातार इस तरह की शिकायतें मिल रही थीं। इनके निस्तारण के लिए पुलिस व जिलाधिकारियों को इस दिशा में उचित कदम उठाने को कहा गया है।

यह भी पढ़ें- उत्‍तराखंड में स्वरोजगार की अड़चनों को चिह्नित करेगा पलायन आयोग, पढ़ि‍ए पूरी खबर


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.