उत्तराखंड के मदरसों में चलेगी स्मार्ट क्लास
सूचना एवं तकनीकी के इस दौर में मदरसों में तालीम लेने वाले बच्चे दूसरों से पीछे न रह जाएं इसे लेकर उत्तराखंड के मदरसों में भी स्मार्ट क्लास चलाने की तैयारी है। रुड़की स्थित मदरसा रहमानिया को स्मार्ट क्लास के लिहाज से हाईटेक कर मॉडल के तौर पर विकसित होंगी।
राज्य ब्यूरो, देहरादून: सूचना एवं तकनीकी के इस दौर में मदरसों में तालीम लेने वाले बच्चे दूसरों से पीछे न रह जाएं, इसे देखते हुए अब उत्तराखंड के मदरसों में भी स्मार्ट क्लास चलाने की तैयारी है। इस क्रम में रुड़की स्थित मदरसा रहमानिया को स्मार्ट क्लास के लिहाज से हाईटेक कर मॉडल के तौर पर विकसित किया जा रहा है। वहां 12वीं तक की कक्षाएं चलेंगी। रुड़की के बाद राज्य के 280 मदरसों में स्मार्ट क्लास शुरू करने का निर्णय लिया गया है।
15 सूत्रीय कार्यक्रम क्रियान्वयन समिति के उपाध्यक्ष शादाब शम्स के अनुसार इस सिलसिले में केंद्र सरकार को 27 करोड़ का प्रस्ताव भेजा गया है। उम्मीद है अगले दो माह में यह राशि जारी भी हो जाएगी। फिलवक्त मदरसा बोर्ड में पंजीकृत सभी 420 मदरसों में एनसीईआरटी पाठ्यक्रम लागू किया गया है। उत्तराखंड में संचालित मदरसों की संख्या एक हजार से अधिक है, लेकिन अभी तक मदरसा बोर्ड में पंजीकरण केवल 420 का ही हुआ है। इनमें भी तीन मदरसे अविभाजित उत्तर प्रदेश में पंजीकृत हुए थे। अब सरकार ने सभी मदरसों का बोर्ड में पंजीकरण अनिवार्य किया है। इसके लिए कसरत भी चल रही है। 15 सूत्रीय कार्यक्रम क्रियान्वयन समिति के उपाध्यक्ष शादाब शम्स के मुताबिक प्रयास ये है कि राज्य में कोई भी मदरसा गैर पंजीकृत न रहे। शम्स ने कहा कि मदरसे का अर्थ स्कूल है। इसलिए इनमें पढऩे वाले बच्चे अन्य विद्यालयों के बच्चों से पीछे न रहें, इसी के दृष्टिगत मदरसों में एनसीईआरटी पाठ्यक्रम लागू किया गया है।
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मदरसों में भी इसके अनुरूप पढ़ाई भी हो शुरू हो गई है। इसी के साथ मदरसों को हाईटेक कर वहां स्मार्ट क्लास चलाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने बताया कि मदरसा रहमानिया रुड़की को इस लिहाज से मॉडल के रूप में विकसित किया जा रहा है। इसमें 12 वीं तक की कक्षाओं के लिए स्मार्ट क्लास चलेंगी। उन्होंने बताया कि यह मॉडल तैयार होने के बाद प्रथम चरण में इसी तर्ज पर प्रदेश के अन्य मदरसों में स्मार्ट क्लास शुरू की जाएंगी।
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