उत्तराखंड में अब ऑनलाइन बिक्री पर कसी जाएगी नकेल, जानिए कैसे
अब किसी भी सामग्री की ऑनलाइन बिक्री पर नकेल कसी जाएगी। उपभोक्ताओं के हितों को संरक्षित करने के लिए प्रदेश सरकार अब इसके नियम तय करने जा रही है।
देहरादून, विकास गुसाईं। प्रदेश में अब किसी भी सामग्री की ऑनलाइन बिक्री पर नकेल कसी जाएगी। उपभोक्ताओं के हितों को संरक्षित करने के लिए प्रदेश सरकार अब इसके नियम तय करने जा रही है। इसके लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में चार सदस्यीय समिति का गठन किया गया है। यह समिति ऑनलाइन खरीद (डायरेक्ट सेलिंग) के लिए नियमावली तैयार करेगी। खाद्य विभाग इसका नोडल विभाग होगा।
प्रदेश में ऑनलाइन खरीददारी करने वालों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। ऑनलाइन खरीददारी से समय और पैसे दोनों की ही बचत होती है। मांग बढ़ने के साथ ही ऑनलाइन बिक्री कंपनियों द्वारा धोखाधड़ी के मामले भी बढ़ने लगे हैं। कभी ग्राहकों को गलत समान भेजने की बातें सामने आ रही है तो सस्ती चीज बेचने के नाम पर ग्राहकों को चूना लगाया जा रहा है। चूंकि, ऑनलाइन ब्रिकी करने वाली कंपनियों का प्रदेश स्तर पर कोई पंजीकरण नहीं होता और न ही कोई कार्यालय होता है।
इस कारण ठगे गए ग्राहकों को अपना पैसा वापस पाने में खासी मशक्कत करनी पड़ती है। अधिकांश मामलों में ग्राहकों की कहीं सुनवाई नहीं हो पाती। इस तरह के बढ़ते हुए मामलों को देखते हुए केंद्र ने सभी प्रदेशों को इसके लिए नियमावली तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इस कड़ी में अब प्रदेश में ऑनलाइन धोखाधड़ी पर नकेल कसने की तैयारी की जा रही है। इसमें डायरेक्ट सेलिंग के तहत आने वाली सभी चीजों को शामिल किया जा रहा है।
यहां तक कि ई-फार्मेसी को भी इसके दायरे में लाने पर विचार किया जा रहा है। इसके लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया गया है। इसमें सचिव सूचना प्रौद्योगिकी, सचिव खाद्य, सचिव स्वास्थ्य को शामिल किया गया है। यह समिति अब ऑनलाइन बिक्री के लिए नियमावली तैयार करेगी। सचिव खाद्य सुशील कुमार ने इसकी पुष्टि की है।
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