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अब मोबाइल से कटेंगे वाहन चालकों के चालान

उत्‍तराखंड में परिवहन विभाग प्रदेश में जल्द ही ई-चालान व्यवस्था लागू करने जा रहा है। इसके लिए एक सॉफ्टवेयर तैयार किया गया है।

By Sunil NegiEdited By: Published: Sun, 22 Oct 2017 09:42 AM (IST)Updated: Sun, 22 Oct 2017 08:37 PM (IST)
अब मोबाइल से कटेंगे वाहन चालकों के चालान
अब मोबाइल से कटेंगे वाहन चालकों के चालान

देहरादून, [विकास गुसाईं]: प्रवर्तन की कार्यवाही को अधिक पारदर्शी बनाने और प्रवर्तन अधिकारियों की जवाबदेही तय करने के लिए परिवहन विभाग प्रदेश में जल्द ही ई-चालान व्यवस्था लागू करने जा रहा है। इसके लिए एक सॉफ्टवेयर तैयार किया गया है। इसके जरिए मोबाइल अथवा टैब में इसे डाउनलोड करने के बाद इनसे चालान काटे जा सकते हैं। 

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इतना ही नहीं चालान काटते ही सारी जानकारी विभाग के वाहन-फोर सॉफ्टवेयर में अपलोड हो जाएगी और चालान कटने वाले को तुरंत एसएमएस के जरिए चालान की पूरी सूचना मिल जाएगी। इसका शुरूआती परीक्षण किया जा चुका है। अब परिवहन विभाग की मंशा इस योजना को नवंबर माह से देहरादून में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू करने की है। 

 परिवहन विभाग में अभी वाहनों के चालान और बंद करने की कार्यवाही अलग-अलग विभागीय रसीद बुक के जरिए की जाती है। इनमें एक दिक्कत यह है कि इसमें चालान काटने की सही जगह व समय भरने की कोई गारंटी नहीं है। यहां तक कि नकली चालान रसीद बुक की आशंका भी बनी रहती है। ऐसा ही एक घोटाला परिवहन विभाग में पहले आ चुका है। 

 जब फर्जी चालान रसीद बुक के जरिए लाखों का घोटाला किया जा चुका है। इस मामले की जांच अभी चल ही रही है। इसे देखते हुए परिवहन विभाग ने ई-चालान काटने की योजना बनाई है। इसके लिए एनआइसी के सहयोग से एक सॉफ्टवेयर तैयार किया गया है। इस सॉफ्टवेयर की विशेषता यह है कि इसे मोबाइल अथवा टैब पर आसानी से चलाया जा सकता है। 

इसका फायदा यह है कि चालान काटने का सही समय पता लग सकेगा। इतना ही नहीं जीपीएस सिस्टम के माध्यम से चालान काटने की सही जगह की जानकारी भी स्वत: ही सॉफ्टवेयर पर आ जाएगी। मोबाइल कनेक्टिविटी न होने की सूरत में भी इसमें ज्यादा असर नहीं पड़ेगा। जैसे ही फोन कनेक्टिविटी वाले क्षेत्र में आएगा स्वत: ही यह जानकारी सॉफ्टवेयर पर अपलोड हो जाएगी। 

यहां तक कि वाहन स्वामी तक चालान की जानकारी एसएमएस के जरिए मिलेगी और उसे यह भी पता चल जाएगा कि उसका चालान किस जुर्म में हुआ है और उसे कितना जुर्माना भरना है। इस योजना के लिए विभाग मोबाइल अथवा टैब खरीदने पर विचार कर रहा है। इसमें यह सभी जिलों में बेहतर कनेक्टिविटी वाली संचार कंपनियों से ही कनेक्शन लेने की भी योजना है। उत्तर प्रदेश समेत कुछ अन्य राज्यों में इस योजना के तहत चालान काटे जा रहे हैं।

हाल ही में परिवहन मंत्री यशपाल आर्य की अध्यक्षता में हुई बैठक में परिवहन विभाग के अधिकारियों ने इसकी जानकारी दी। माना जा रहा है कि विभाग अब नवंबर में इसे देहरादून से पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू कर देगा। निकट भविष्य में इसे पूरे प्रदेश में लागू कर दिया जाएगा। 

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