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उत्तराखंड के पूर्व सीएम कोश्यारी ने ली महाराष्ट्र के राज्यपाल पद की शपथ

उत्तराखंड के पूर्व सीएम भगत सिंह कोश्यारी ने मुंबई राजभवन में महाराष्ट्र के राज्यपाल के रूप में शपथ ली। बांबे हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश प्रदीप नंदराजोग ने उन्हेेंं शपथ दिलाई।

By Edited By: Published: Thu, 05 Sep 2019 09:52 PM (IST)Updated: Fri, 06 Sep 2019 07:30 AM (IST)
उत्तराखंड के पूर्व सीएम कोश्यारी ने ली महाराष्ट्र के राज्यपाल पद की शपथ
उत्तराखंड के पूर्व सीएम कोश्यारी ने ली महाराष्ट्र के राज्यपाल पद की शपथ

देहरादून, राज्य ब्यूरो। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने मुंबई स्थित राजभवन में महाराष्ट्र के 19 वें राज्यपाल के रूप में शपथ ली। उन्हें बांबे हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश प्रदीप नंदराजोग ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। शपथ ग्रहण समारोह के दौरान तब सभी चकित रह गए, जब राज्यपाल के रूप में भगतसिंह कोश्यारी ने मराठी में शपथ ली।

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गुरुवार को मुंबई में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फणनवीस, केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री अरविंद सावंत, केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री रामदास अठावले के अलावा उत्तराखंड सरकार के वन एवं पर्यावरण मंत्री हरक सिंह रावत, कृषि मंत्री सुबोध उनियाल, राज्य मंत्री रेखा आर्य और डॉ. धन सिंह रावत उपस्थित थे। 

उत्तराखंड में नैनीताल के सांसद व प्रदेश भाजपा अध्यक्ष अजय भट्ट तथा महाराष्ट्र सरकार के कई मंत्री भी शपथ ग्रहण समारोह में मौजूद थे। शपथ ग्रहण के तुरंत बाद राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने शिक्षक दिवस के अवसर पर सभी शिक्षकों को शुभकामनाएं दी। गौरतलब है कि राज्यपाल कोश्यारी स्वयं पहले शिक्षक रह चुके हैं।

एक परिचय

नाम-भगत सिंह कोश्यारी

पिता का नाम-  गोपाल सिंह कोश्यारी

मूल पता-ग्राम पालनाधुरा जनपद बागेश्वर, उत्‍तराखंड 

जन्मतिथि-17 जून 1942

प्रारंभिक शिक्षा-प्राथमिक विद्यालय महरगाड़ी बागेश्वर

आठवीं-जूनियर हाईस्‍कूल शामा

हाईस्कूल-कपकोट (बागेश्वर) 

इंटरमीडिएट-पिथौरागढ़ 

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सामाजिक व राजनीतिक सफर 

-वर्ष 1964- 65 में रामपुर में प्रवक्ता पद पर नियुक्ति, बाद में नौकरी छोड़ी। 

-पिथौरागढ को कर्मस्थली बनाया। पिथौरागढ़ में सरस्वती शिशु मंदिर और विद्या मंदिर की स्थापना में अहम भूमिका। शिशु मंदिर में आचार्य रहे।

-पिथौरागढ़ में साप्ताहिक पर्वत पीयूष समाचार पत्र का प्रकाशन, जो जारी है।

-आपातकाल में जुलाई 1975 से 1977 तक जेल में रहे।

-वर्ष 1988 से 93 तक उत्त्तरांचल संघर्ष समिति के महामंत्री और बाद में उत्त्तरांचल प्रदेश भाजपा अध्यक्ष रहे।

- 13 मई 1997 को यूपी विधान परिषद के सदस्य मनोनीत हुए। यूपी विधान सभा समाधिकार समिति के सदस्य रहे। वर्ष 1999 से 2000 तक कुमाऊं विश्वविद्यालय  नैनीताल सीनेट में विधान परिषद द्वारा नामित सदस्य रहे।

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-उत्त्तराखंड राज्य बनने पर पहले ऊर्जा मंत्री बने।

-अक्टूबर 2001 में उत्त्तरांचल के मुख्यमंत्री बने।

-2002 में कपकोट विस क्षेत्र से पहली बार विधायक चुने गए, तब नेता प्रतिपक्ष रहे।

-2003 में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष रहे फिर राज्यसभा के लिए चुने गए

-2014 में नैनीताल से सांसद चुने गए।

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