सामूहिक दुष्कर्म और जच्चा बच्चा की मौत पर हाईकोर्ट ने मांगी रिपोर्ट
दून के भाऊवाला स्थित जीआरडी वर्ल्ड बोर्डिंग स्कूल में नाबालिग छात्रा से सामूहिक दुष्कर्म की घटना के साथ ही दून महिला अस्पताल में जच्चा बच्चा की मौत पर हाईकोर्ट ने रिपोर्ट तलब की।
देहरादून, [जेएनएन]: दून के भाऊवाला स्थित जीआरडी वर्ल्ड बोर्डिंग स्कूल में नाबालिग छात्रा से सामूहिक दुष्कर्म की घटना का नैनीताल हाईकोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए एसएसपी से रिपोर्ट तलब की है। हाईकोर्ट का पत्र आते ही पुलिस अधिकारियों ने मामले की जांच कर रही एसआइटी को तलब कर रिपोर्ट हाईकोर्ट भेजने के निर्देश दिए। वहीं महिला अस्पताल में जच्चा-बच्चा की मौत के मामले को भी खंडपीठ ने जनहित याचिका के तौर पर स्वत: संज्ञान लिया है।
बोर्डिंग स्कूल में नाबालिग छात्रा से हुई सामूहिक दुष्कर्म की घटना ने उन अभिभावकों की चिंता बढ़ा दी है जिनके बच्चे इस तरह के स्कूलों में पढ़ रहे हैं। वारदात से न सिर्फ बोर्डिंग स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा पर सवाल उठे, बल्कि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की उस गाइडलाइन का सच भी सामने आ गया, जिसके मुताबिक प्रत्येक स्कूल को सीसीटीवी लगाने से लेकर सुरक्षा के तमाम इंतजाम करने का प्रावधान है।
यही वजह है कि यह वारदात न सिर्फ उत्तराखंड, बल्कि पूरे देश में चर्चा का विषय बनी। स्कूल में बच्चों की सुरक्षा को लेकर हुई चूक के बेहद गंभीर प्रकरण का हाईकोर्ट का स्वत: संज्ञान लेने के पीछे का कारण भी यही है।
हाईकोर्ट ने सामूहिक दुष्कर्म और महिला अस्पताल में जच्चा-बच्चा की मौत मामले को जनहित याचिका के रूप में संज्ञान लिया है। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति राजीव शर्मा व न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी की खंडपीठ में मामले की सुनवाई होगी।
कोर्ट ने संज्ञान लेने के बाद सरकारी पक्ष द्वारा अब तक की गई कार्रवाई का ब्योरा जुटाया जा रहा है। वहीं, एसएसपी निवेदिता कुकरेती ने बताया कि अब तक हुई जांच और की गई कार्रवाई की ब्योरा भेजा जा रहा है।
14 अगस्त को हुई थी वारदात
बोर्डिंग स्कूल में हाईस्कूल की नाबालिग छात्रा से 14 अगस्त को हाईस्कूल और इंटर के चार छात्रों ने सामूहिक दुष्कर्म किया था। घटना के बाद छात्रा गर्भवती हो गई। उसने आया मंजू को यह बात बताई तो प्रबंधन इस प्रकरण को रफा-दफा करने में जुट गया। छात्रा को धमकी दी गई कि वह किसी को यह बात न बताए।
इसके बाद निदेशक लता गुप्ता के कहने पर प्रशासनिक अधिकारी दीपक मल्होत्रा और उसकी पत्नी तन्नू ने छात्रा को देसी दवा पिला दी, जिससे उसका गर्भपात हो गया। इस बीच जब रक्तस्त्राव नहीं रुका तो छात्रा को एक नर्सिंग होम में भी उपचार के लिए ले जाया गया। इस बीच छात्रा ने किसी तरह परिजनों को यह बात बताई और प्रकरण में कार्रवाई हुई।
यह हैं आरोपित
स्कूल की निदेशक लता गुप्ता, प्रधानाचार्य जितेंद्र शर्मा, प्रशासनिक अधिकारी दीपक मल्होत्रा व उसकी पत्नी तन्नू, आया मंजू व इंटर का छात्र सर्वजीत। इसके अलावा दुष्कर्म करने वाले तीन छात्र नाबालिग हैं। नाबालिग आरोपित हरिद्वार बाल सुधार गृह तथा अन्य आरोपित सुद्धोवाला जिला कारागार में हैं।
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