Uttarakhand Weather: आफत ला रही भारी बारिश और ओलावृष्टि; पहाड़ों में बर्फबारी, मैदानों में जलभराव
उत्तराखंड में मौसम मार्च में सावन का एहसास करा रहा है। पहाड़ से लेकर मैदान तक बारिश का दौर जारी है। हरिद्वार और देहरादून में जबरदस्त ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान पहुंचा है।
देहरादून, जेएनएन। उत्तराखंड में मौसम मार्च में सावन का एहसास करा रहा है। पहाड़ से लेकर मैदान तक बारिश का दौर जारी है। हरिद्वार और देहरादून में जबरदस्त ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान पहुंचा है। वहीं, बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री में बर्फबारी का सिलसिला बना हुआ है। मौसम के मिजाज को देखते हुए केदारनाथ में पैदल मार्ग से बर्फ हटा रहे श्रमिकों को फिलहाल गौरीकुंड बुला लिया गया है। भारी बर्फबारी से उत्तरकाशी जिले में गंगोत्री हाईवे और चमोली जिले में बदरीनाथ हाईवे पर यातायात दूसरे दिन बाधित रहा।
राज्य मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार रविवार तक मौसम के मिजाज में कोई बदलाव आने की संभावना नहीं है। शनिवार और रविवार को 2500 मीटर की ऊंचाई तक के इलाकों में बर्फबारी की संभावना है। गुरुवार रात से शुरू हुई बारिश और बर्फबारी का क्रम शनिवार को भी जारी है। निचले इलाकों में दिनभर रुक-रुक बारिश हो रही है। मसूरी, देहरादून और हरिद्वार में जबरदस्त ओले गिरे। इससे फसलों को खासा नुकसान पहुंचा है।
हरिद्वार के जिला कृषि अधिकारी वीकेश कुमार यादव ने बताया कि नुकसान का आकलन किया जा रहा है, लेकिन प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार हरिद्वार जिले में इससे करीब 800 हेक्टेयर क्षेत्र प्रभावित हुआ है। केदारनाथ में चौथे दिन भी पैदल मार्ग से बर्फ नहीं हटाई जा सकी। रुद्रप्रयाग के जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने बताया कि मौसम साफ होने का इंतजार किया जा रहा है।
हर्षिल के पास फंसे 30 लोग
उत्तरकाशी जिले में भारी बर्फबारी के कारण हर्षिल के पास 30 लोग फंसे हुए हैं। उत्तरकाशी के जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने बताया कि इनमें से कुछ पर्यटक हैं। डीएम के अनुसार ये सभी लोग हर्षिल से लौट रहे थे कि बर्फबारी के कारण सड़क बंद हो गई।
बारिश के कारण राजाजी नेशनल पार्क के गेट दो दिन से बंद
दो दिन से लगातार हो रही बारिश के कारण राजाजी नेशनल पार्क के गेट गुरुवार और शुक्रवार को बंद रहे। सैलानियों के पार्क में प्रवेश पर फिलहाल रोक लगी हुई है। चीला के रेंजर अनिल पैन्यूली ने बताया कि बारिश से ट्रैक प्रभावित हो सकते हैं। पहले ट्रैक का निरीक्षण किया जाएगा। यदि ट्रैक दुरुस्त हुआ तभी सैलानियों को प्रवेश दिया जाएगा।
छत गिरने से बालक की मौत
जिला ऊधमसिंह नगर के काशीपुर में भी हादसे में एक बालक की मौत हो गई। स्थानीय लोगों के मुताबिक आकाशीय बिजली गिरने से एक मकान की छत ढह गई, जिससे घर में मौजूद 12 वर्षीय शाकिब की मलबे में दबकर मौत हो गई।
दून-मसूरी में पांच साल बाद रिकॉर्ड बारिश
मौसम इस बार उत्तराखंड पर कुछ ज्यादा ही मेहरबान है। दून मसूरी में भी बारिश का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। दो-चार दिन धूप खिलते ही बादल फिर से उमड़ जा रहे हैं। मार्च के पहले पखवाड़े में पांच साल बाद रिकॉर्ड बारिश हुई है। इस दौरान सामान्य से पांच गुना अधिक बारिश हो चुकी है और अभी भी बारिश का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। इससे पहले 2015 में ही बारिश ने रिकॉर्ड बनाया था।
मार्च के महीने में बारिश और ओलावृष्टि दून और मसूरी में नए कीर्तिमान स्थापित कर रही है। पांच साल के अंतराल में यह पहला मौका है जब सामान्य से पांच गुना या इससे अधिक बारिश हुई है। अभी मार्च आधा भी नहीं बीता और बारिश ने कई रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं।
हैरानी की बात तो यह कि सामान्य रूप से दून में मार्च के दौरान 20 मिलीमीटर से भी कम बारिश होती है, लेकिन इस बार अभी तक 92 मिलीमीटर से अधिक बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है। वहीं, वर्ष 2015 में बारिश ने कई सालों का रिकॉर्ड तोड़ते हुए दून में बरसात जैसे हालात बना दिए थे।
तब पूरे महीने में 181 मिलीमीटर बारिश हुई थी। मार्च में ऑल टाइम रिकॉर्ड 198 मिलीमीटर बारिश है, जो कि वर्ष 1967 में दर्ज की गई थी। चौंकाने वाली बात तो यह कि 2015 के बाद किसी भी साल मार्च में 40 मिलीमीटर बारिश भी नहीं हुई।
दून में मार्च माह में बारिश की स्थिति
वर्ष-----------------------------वर्षा
2020-----------------------92.6 मिमी
2019-----------------------39.7 मिमी
2018-----------------------14.2 मिमी
2017-----------------------19.2 मिमी
2016-----------------------32.0 मिमी
2015-----------------------181.4 मिमी
अभी नहीं मिलेगी राहत
मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह के मुताबिक, पश्चिमी विक्षोभ पंजाब के इर्द-गिर्द सक्रिय है, इसके अलावा साइक्लोनिक सर्कुलेशन हरियाणा, उत्तर प्रदेश समेत उत्तराखंड में भी प्रभावशाली है। जिससे बादल हिमालय की निचली तलहटी पर डेरा डाले हुए हैं। ऐसे में दबाव बढऩे पर उत्तराखंड में बारिश का सिलसिला बना हुआ है। अभी अगले कुछ दिन दून में और बारिश हो सकती है।
झमाझम बारिश से सड़कों-दुकानों में जल भराव
दून में बारिश का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा है। पिछले तीन दिन से शहर में रुक-रुककर मूसलाधार बारिश का दौर जारी है। बारिश और ओलावृष्टि से दून में जनजीवन प्रभावित हो रहा है। चौक-चौराहों में तो जलभराव दिक्कतें बढ़ा ही रहा है, बारिश का पानी दुकानों व घरों में भी घुसने लगा है। नालियां बंद होने के कारण भी स्थिति बदतर हो गई है।
दो दिन बारिश के बाद शुक्रवार को दून में सुबह ओलावृष्टि के साथ बारिश का सिलसिला शुरू हुआ, जो शनिवार को भी जारी है। जिससे शहरभर में जलभराव की समस्या बनी रही।
बारिश और नालियों का पानी सड़कों पर बहने से आवाजाही में लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। कई इलाकों में तो फुटपाथ भी पानी में डूबे नजर आए और शहर का ड्रेनेज सिस्टम पूरी तरह ध्वस्त हो गया। शहर में गली-मोहल्लों की ही नहीं मुख्य मार्गों पर भी सड़कें क्षतिग्रस्त हैं। बारिश के दौरान इनमें पानी भर जाने से ये गड्ढे और खतरनाक हो गए हैं।
यहां जलभराव से हो रही दिक्कत
शहर के मुख्य इलाकों की बात करें तो सेवला कलां, पथरी बाग चौक, कनक चौक, एस्लेहॉल चौक, दर्शनलाल चौक, बुद्धा चौक, प्रिंस चौक, रेलवे प्रवेश द्वार, सहारनपुर चौक, निरंजनपुर, कारगी चौक, नारायण विहार के पास मुख्य रोड पर, आइएसबीटी, शिमला बाईपास चौक, कमला पैलेस तिराहा, क्लेमेनटाउन, टर्नर रोड, चूना भट्टा, सहस्रधारा क्रॉसिंग, हाथीबड़कला, बल्लीवाला, अनुराग चौक, महारानी बाग आदि क्षेत्रों में जलभराव की समस्या बनी हुई है।
अभी और है बारिश-ओलावृष्टि की संभावना
दून में शनिवार को भी जमकर बारिश और ओलावृष्टि हुई। जिससे अधिकतम तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार मौसम के मिजाज में ज्यादा बदलाव आने की संभावना नहीं है। आंशिक से लेकर मुख्यत: बादल छाये रहेंगे। दून और मसूरी में बारिश और ओलावृष्टि की संभावना है। वहीं, दून के अधिकतम तापमान में सामान्य से पांच डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की जा रही है।
आकाशीय बिजली गिरने से हुआ नुकसान
आर्केडिया ग्रांट में आकाशीय बिजली गिरने से एक मकान के लिंटर में छेद हो गया। साथ ही आसपास इलेक्ट्रोनिक उपकरण फूंक गए।
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विभिन्न शहरों में तापमान
शहर-----------अधिकतम----------न्यूनतम
देहरादून----------18.5---------------13.4
उत्तरकाशी-------16.2----------------7.4
मसूरी-------------11.3----------------4.3
टिहरी-------------14.6----------------6.0
हरिद्वार----------20.3---------------14.3
जोशीमठ----------14.7----------------4.6
पिथौरागढ़---------19.4----------------9.0
अल्मोड़ा-----------14.8----------------6.4
मुक्तेश्वर----------09.6----------------4.3
नैनीताल----------15.1----------------8.0
यूएसनगर---------24.3--------------16.8
चंपावत-----------14.2----------------7.1