कोरोना संक्रमण के बीच उत्तराखंड को राहत, जीएसटी के 300 करोड़ मिले; टला कर्ज संकट
केंद्र सरकार ने जीएसटी मुआवजे की करीब 300 करोड़ की राशि दी है। राज्य को इस माह के अंतिम हफ्ते में बाजार से कर्ज लेने की नौबत केंद्र की मदद से टल गई है।
By Edited By: Published: Mon, 27 Jul 2020 10:52 PM (IST)Updated: Tue, 28 Jul 2020 02:28 PM (IST)
देहरादून, राज्य ब्यूरो। कोरोना संकटकाल में फिलहाल उत्तराखंड को राहत मिल गई है। केंद्र सरकार ने जीएसटी मुआवजे की करीब 300 करोड़ की राशि दी है। राज्य को इस माह के अंतिम हफ्ते में बाजार से कर्ज लेने की नौबत केंद्र की मदद से टल गई है। कोरोना महामारी के दौर में राज्य के लिए अपने खर्चो को पूरा करने की चुनौती बनी हुई है।
सरकार के सामने सबसे बड़ी मुश्किल अपने कार्मिकों के वेतन-भुगतान, मानदेय की पूर्ति में आती है। इसी वजह से राज्य को चालू वित्तीय वर्ष के पहले महीने यानी अप्रैल माह में ही एक हजार करोड़ बाजार से उधार लेने को मजबूर होना पड़ा था। इसके बाद से सरकार कर्ज उठाने से बचने की हर मुमकिन कोशिश कर रही है। दरअसल जिस तरह कोरोना संकट लंबा खिंचता दिख रहा है, उससे अर्थव्यवस्था पर दुष्प्रभाव पड़ रहा है।
कर्ज के मामले में ओवर ड्राफ्ट की स्थिति से बचने में फिलहाल केंद्र से मिलने वाली मदद का लाभ राज्य को मिल रहा है। राज्य को हर महीने राजस्व घाटा अनुदान के रूप में 423 करोड़ की किस्त मिल रही है। चालू माह के पहले हफ्ते में यह राशि राज्य को मिल चुकी है। चालू वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए केंद्र सरकार ने कुल 5076 करोड़ राजस्व घाटा अनुदान मंजूर किया है। राज्य को चालू माह के दूसरे पखवाड़े में जीएसटी मुआवजे की करीब 300 करोड़ की धनराशि भी प्राप्त हो गई है। वित्त सचिव अमित नेगी ने कहा कि फिलहाल इस माह कर्ज नहीं लिया जाएगा।
दून से गैरसैंण तक बिछेगी ओएफसी
उत्तराखंड सरकार ने गैरसैंण के भराड़ीसैंण में ई-विधानसभा बनाने की दिशा में कदम बढ़ा दिए हैं। इसके लिए अब देहरादून से गैरसैंण तक ऑप्टिकल फाइबर केबिल (ओएफसी) बिछाई जाएगी। इसकी लागत लगभग 27 करोड़ रुपये आएगी। ई-विधानसभा बनाने से विभागों को गैरसैंण में आयोजित होने वाले विस सत्रों में फाइल लाने-ले जाने के झंझट से मुक्ति मिल जाएगी। इसके अलावा प्रदेश सरकार आबादी वाले क्षेत्रों में जंगली जानवरों की लगातार बढ़ती दस्तक के मद्देनजर अब सभी गांवों में स्ट्रीट लाइट लगाएगी।
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