रिस्पना की पीड़ा उठाने वाली गायत्री होंगी पीएम से रूबरू
रिस्पना नदी की पीड़ा उठाने वाली दून की छात्रा गायत्री पेगवाल रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से रूबरू होंगी।
देहरादून, जेएनएन। गंदगी से मरणासन्न हालत में पहुंच चुकी रिस्पना नदी की पीड़ा उठाने वाली दून की छात्रा गायत्री पेगवाल रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से रूबरू होंगी। वह देश के उन चुनिंदा लोगों में शामिल हैं, जिन्हें मन की बात के 50वें संस्करण में शामिल होने का न्यौता मिला है। पिछले साल मन की बात कार्यक्रम में गायत्री ने फोन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात की थी और गंदगी से कराह रही रिस्पना की पीड़ा साझा की थी। इस रिकॉर्डेड संदेश को प्रधानमंत्री ने पूरे देश को सुनाया था। यह क्षण गायत्री के लिए सपनों सरीखा था और जब उन्हें मन की बात के 50वें संस्करण में शामिल होने का मौका मिला तो उनकी उम्मीद को मानो पंख लग गए।
शनिवार शाम को सरकारी खर्च पर बीए की छात्रा गायत्री पेगवाल जौलीग्रांट एयरपोर्ट से दिल्ली के लिए रवाना भी हो गई हैं। उनके पिता गुलाब सिंह व मां छाया देवी ने गायत्री को जौलीग्रांट एयरपोर्ट पर छोड़ा। गायत्री पहली बार हवाई जहाज से सफर रही हैं और घर से लेकर एयरपोर्ट तक वह यही बात करती रहीं कि क्या एक आम व्यक्ति की आवाज इस तरह अप्रत्याशित रूप से प्रधानमंत्री के मन को छू सकती है।
उन्हें उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मन की बात का 50वां संस्करण उनकी तरह दून के लाखों लोगों की उम्मीद को भी संबल देगा और रिस्पना के दिन जरूर बहुरेंगे। हालांकि इस बीच रिस्पना की जस की तस बनी स्थिति ने उन्हें मायूस भी किया। पिछले साल जब उन्होंने फोन पर मोदी से रिस्पना का हाल बयां किया था, तब तत्कालीन महापौर ने उन्हें अपना ध्यान पढ़ाई केंद्रित करने की नसीहत भी दे डाली थी।
यह बात और है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने न सिर्फ उनकी आस को जिंदा किया, बल्कि आमंत्रण भी भेज दिया। वेल्डिंग का काम करने वाले गायत्री के पिता गुलाब सिंह ने बताया कि दिल्ली में उनकी बेटी के लिए दूरदर्शन के अतिथि गृह में व्यवस्था की गई है। रविवार को मन की बात कार्यक्रम में शामिल होने के बाद शाम को साढ़े छह बजे की फ्लाइट से वह वापस दून के लिए रवाना हो जाएंगी।
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