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बजट से हर वर्ग को निराशा: डॉ. इंदिरा हृदयेश

नेता प्रतिपक्ष और पूर्व वित्त मंत्री डॉ. इंदिरा हृदयेश ने कहा कि केंद्र का बजट हर वर्ग को निराश करने वाला है।

By Sunil NegiEdited By: Published: Thu, 01 Feb 2018 08:51 PM (IST)Updated: Fri, 02 Feb 2018 08:40 PM (IST)
बजट से हर वर्ग को निराशा: डॉ. इंदिरा हृदयेश
बजट से हर वर्ग को निराशा: डॉ. इंदिरा हृदयेश
हल्द्वानी(नैनीताल), [जेएनएन]: नेता प्रतिपक्ष और पूर्व वित्त मंत्री डॉ. इंदिरा हृदयेश ने कहा कि केंद्र का बजट हर वर्ग को निराश करने वाला है। उत्तराखंड को ग्रीन बोनस देने की मांग पर इस बार भी डबल इंजन सरकार ने उपेक्षा ही दिखाई है। 
डॉ. इंदिरा ने कहा कि पीएम ने प्रतिवर्ष दो करोड़ युवाओं को रोजगार देने का वादा किया था, अब बजट में वह पीछे हट गए हैं। अब केंद्र 75 लाख लोगों को रोजगार की बात बजट में कह रहा है। किसान परेशान है, न तो उनका लोन माफ हुआ और न उचित समर्थन मूल्य व लाभांश दिए जाने की बात कही गई। गैस, पेट्रोल, डीजल के दाम कम नहीं किए गए। रेल को पहाड़ तक पहुंचाने की कोई योजना बजट में नहीं दिखी। आंकड़ों की बाजीगिरी कर रही सरकार को देश को बताना चाहिए कि लगातार गिर रही विकास दर को कैसे संभालेंगे। नोटबंदी से लाखों लोग बेरोजगार हुए। आयकर में छूट की उम्मीद हर व्यक्ति को थी, लेकिन छूट की बजाय सेस और लाद दिए गए हैं। कुल मिलाकर बजट जीएसटी, नोटबंदी और महंगाई की मार से त्रस्त जनता की दिक्कतों को और बढ़ाने वाला है।
प्रत्यक्ष कर संहिता में बदलाव के बाद दिखेगा असर : अग्रवाल
पूर्व आयकर आयुक्त (कुमाऊं) डॉ. एससी अग्रवाल का कहना कि यह बजट टैक्स के लिहाज से यथास्थिति वाला है। आयकर स्लैब में बदलाव न करके सरकार ने नौकरीपेशा कर्मचारी को 40 हजार रुपये तक मानक कटौती का लाभ दिया है। अन्य वर्गों के लिए उपकर का भुगतान जेब ढीली करने वाला कह सकते हैं। आयकर में ज्यादा फेरबदल न करने के पीछे केंद्र सरकार का डायरेक्ट टैक्स कोड में प्रस्तावित बदलाव भी एक कारण हो सकता है।

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