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दून में केबल कार की तैयारी पूरी, बनेंगे तीन कॉरिडोर

दून में मेट्रो परियोजना का सफर अच्छा नहीं रहा। करीब तीन साल की कसरत के बाद इस परियोजना पर धरातलीय काम शुरू होने से पहले ही बंद करना पड़ गया।

By Sunil NegiEdited By: Published: Sun, 12 Jul 2020 12:16 PM (IST)Updated: Sun, 12 Jul 2020 08:44 PM (IST)
दून में केबल कार की तैयारी पूरी, बनेंगे तीन कॉरिडोर
दून में केबल कार की तैयारी पूरी, बनेंगे तीन कॉरिडोर

देहरादून, सुमन सेमवाल। दून में मेट्रो परियोजना का सफर अच्छा नहीं रहा। करीब तीन साल की कसरत के बाद इस परियोजना पर धरातलीय काम शुरू होने से पहले ही बंद करना पड़ गया। हालांकि, अब तय किया गया है कि दून में केबल कार (रोपवे) चलाई जाएगी। इसी के अनुरूप परियोजना की डीपीआर (डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट) भी तैयार की जाने लगी है। शुरुआत में इसके मेट्रो की तरह दो कॉरिडोर बनाने की तैयारी थी, मगर अब तीन कॉरिडोर बनाने की योजना है।

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उत्तराखंड मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन के प्रबंध निदेशक जितेंद्र त्यागी ने बताया कि दो कॉरीडोर मेट्रो वाले स्थान पर ही बनेंगे, जबकि तीसरा व नया कॉरीडोर प्रेमनगर से शुरू होगा। तीनों कॉरीडोर की लंबाई करीब 29 से 30 किलोमीटर की होगी। परियोजना की लागत करीब 2700 करोड़ रुपये आंकी जा रही है। फिर भी यह राशि अंतिम रूप से डीपीआर तैयार होने के बाद तय की जाएगी। डीपीआर तैयार करने के बाद परियोजना पर काम शुरू करने व समाप्ति के लिए ढाई साल का समय तय किया गया है।

यह होंगे केबल कार के कॉरीडोर

  • आइसीएबीटी से राजपुर रोड: यह कैनाल रोड के आसपास तक पहुंचेगा और लंबाई करीब 12 किलोमीटर होगी।
  • एफआरआइ से रिस्पना: यह विधानसभा तिराहे के आसपास पहुंचेगा और इस कॉरीडोर की लंबाई भी करीब 12 किलोमीटर होगी।
  • प्रेमनगर से रेलवे स्टेशन: यह कॉरीडोर कांवली रोड के ऊपर से गुजरेगा और इसकी लंबाई करीब पांच किलोमीटर होगी।

ऐसे चलती है केबल कार

केबल कार सड़क से कुछ मीटर की ऊंचाई पर केबल के सहारे चलती है। यात्रियों के बैठने के लिए इसमें केबिननुमा बॉक्स बना होता है। इसी में शीट लगी होती हैं। केबल कार की औसत रफ्तार करीब 15 किलोमीटर प्रति घंटा होती है। इसकी रफ्तार कभी बंद नहीं होती है और स्टेशन वाली जगह पर स्पीड न्यूनतम जरूर हो जाती है। यानी कि यात्री आराम से उतर सकते हैं।

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मेट्रो की डीपीआर केंद्र भेजने की तैयारी

मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन के प्रबंध निदेशक ने बताया कि लाइट रेल ट्रांजिट सिस्टम आधारित मेट्रो (मेट्रोलाइट) अब सिर्फ हरिद्वार से ऋषिकेश (तपोवन) क्षेत्र तक चलेगी। इसकी डीपीआर अब राज्य सरकार की ओर से केंद्र सरकार को भेजी जा रही है। वहीं, हरिद्वार में लक्सर क्षेत्र से एक और मेट्रो का कॉरीडोर तैयार करने का निर्णय लिया गया है। इसकी डीपीआर भी तैयार की जा रही है। यह कॉरीडोर हरकी पैड़ी, रेलवे स्टेशन आदि क्षेत्र को भी आपस में जोड़ेगा। इस कॉरीडोर की कुल लंबाई करीब 19 किलोमीटर होगी।

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