उत्तराखंड में अब उम्र को लेकर धांधली नहीं कर पाएंगे एथलीट
अब प्रदेश के एथलीट उम्र को लेकर धांधली नहीं कर पाएंगे। इसे रोकने के लिए उत्तराखंड एथलेटिक्स एसोसिएशन ने कमर कस ली है। इसके तहत खिलाड़ियों का बोन टेस्ट होगा।
देहरादून, जेएनएन। अब प्रदेश के एथलीट उम्र को लेकर धांधली नहीं कर पाएंगे। इसे रोकने के लिए उत्तराखंड एथलेटिक्स एसोसिएशन ने कमर कस ली है। इसके तहत एसोसिएशन जिला और प्रदेश स्तरीय प्रतियोगिता से पहले खिलाड़ियों का बोन टेस्ट कराने की तैयारी कर रही है। इस परीक्षण में फेल होने वाले खिलाडिय़ों पर दो साल तक का प्रतिबंध लगाया जाएगा।
अब तक प्रदेश में एथलीटों के बोन टेस्ट की व्यवस्था नहीं थी। किसी खिलाड़ी के खिलाफ उम्र में धांधली की शिकायत मिलने पर जांच का दायरा उसके दस्तावेजों तक ही सीमित रह जाता था। जिससे जांच की पारदर्शिता पर भी सवाल खड़े होते थे।
उत्तराखंड एथलेटिक्स एसोसिएशन के सचिव केजेएस कलसी ने बताया कि अभी तक राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ही आयु को लेकर संदेह के घेरे में आने वाले खिलाड़ियों का बोन टेस्ट कराती थी। इसके बाद उम्र में धांधली करने वाले खिलाड़ी पर नियमानुसार कार्रवाई की जाती थी।
उन्होंने बताया कि अब प्रदेश में भी बोन टेस्ट के नियम को लागू किया जा रहा है। प्रदेश की आगामी प्रतियोगिताओं में उत्तराखंड एथलेटिक्स फेडरेशन भी खिलाडिय़ों के खिलाफ शिकायत मिलने या संदेह होने पर उनका बोन टेस्ट कराएगी। इसके लिए देहरादून की एक लैब से करार किया गया है।
उन्होंने बताया कि उम्र में धांधली करने पर नियमानुसार दो साल तक का प्रतिबंध लगाया जा सकता है। प्रदेश से राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने के लिए उन्हीं खिलाड़ियों को भेजा जाएगा, जो बोन टेस्ट में खरे उतरेंगे।
यह भी पढ़ें: उत्तराखंड के मुक्केबाज कविंद्र विश्व रैंकिंग में चौथे स्थान पर पहुंचे
डोपिंग से बचने को करेंगे जागरूक
उत्तराखंड एथलेटिक्स एसोसिएशन प्रदेश के युवा खिलाड़ियों को डोपिंग से बचने के लिए जागरूक करेगी। इसके लिए एसोसिएशन सभी जिला संघों में एक-एक तकनीकी अधिकारी नियुक्त करने जा रही है। जो समय-समय पर खिलाड़ियों को डोपिंग से बचने के लिए जागरूक करेंगे।
यह भी पढ़ें: 38 वें राष्ट्रीय खेलों का आयोजन को संसाधन विकसित करना बड़ी चुनौती