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यमुना में फंसे 30 वन गुर्जरों को सुरक्षित निकाला

सोमवार की देर रात कोतवाली अंतर्गत ढालीपुर में 30 लोग यमुना के बीच टापू पर फंस गए, जिसके बाद सूचना पर पहुंची पुलिस व एसडीआरएफ की टीम ने सभी लोगों को सुरक्षित निकाल लिया।

By JagranEdited By: Published: Tue, 25 Sep 2018 07:25 PM (IST)Updated: Tue, 25 Sep 2018 07:25 PM (IST)
यमुना में फंसे 30 वन गुर्जरों को सुरक्षित निकाला
यमुना में फंसे 30 वन गुर्जरों को सुरक्षित निकाला

जागरण संवाददाता, विकासनगर: सोमवार की देर रात कोतवाली अंतर्गत ढालीपुर में 30 लोग यमुना के तेज बहाव में फंस गए। रात के अंधेरे के बावजूद पुलिस व एसडीआरएफ ने तत्परता दिखाते हुए रेस्क्यू चलाकर सभी 30 लोगों को सकुशल बाहर निकाल लिया। बच्चों की चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोगों ने पुलिस कंट्रोल रूम को सूचना दी, जिसके चलते पुलिस टीम समय पर रेस्क्यू चला पाई और 30 जिंदगियों को बचा लिया गया। रेस्क्यू कर छह पुरुष, पांच महिला व 19 बच्चों को सकुशल निकाल लिया गया है।

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सोमवार की रात किसी ने पुलिस कंट्रोल रूम को ढालीपुर के नीचे यमुना नदी में कुछ लोगों के फंसे होने की सूचना दी। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक निवेदिता कुकरेती के त्वरित कार्रवाई के निर्देश पर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण सरिता डोभाल व सीओ भूपेंद्र ¨सह धोनी के पर्यवेक्षण में एसएसआइ नत्थी लाल उनियाल, हरबर्टपुर चौकी प्रभारी रामनरेश शर्मा मय फोर्स के घटना स्थल पर पहुंचे। ढालीपुर में आरटीओ कार्यालय के पास यमुना में ढकरानी की तरफ नदी के तेज बहाव में कुछ लोग फंसे दिखाई दिए। बच्चों के रोने चिल्लाने की आवाज आने पर टार्च की रोशनी के सहारे बिना देरी किए जल पुलिस व एसडीआरएफ राहत बचाव उपकरणों के साथ मौके पर पहुंची। रेस्क्यू के दौरान उफनती नदी में रस्सी डालकर नदी के बीचोंबीच टापू पर फंसे लोगों तक पहुंचने का प्रयास किया गया, लेकिन पुलिस को सफलता नहीं मिली, यमुना नदी का जल स्तर लगातार बढ़ता देख एसडीआरएफ व पुलिस ने पुन: संयुक्त टीम बनाकर उपलब्ध रस्सों व टायर-ट्यूब व बोट के माध्यम से नदी के तेज बहाव को पार कर टापू में फंसे लोगों की हिम्मत बढ़ाई। टीम ने रेस्क्यू के दौरान सर्वप्रथम छोटे बच्चों को सुरक्षित बाहर निकाला, उसके बाद महिलाओं व पुरुषों को टापू से बाहर निकाल कर सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया।

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छह घंटे तक चला रेस्क्यू

विकासनगर: ढालीपुर में यमुना में फंसे तीस लोगों को रेस्क्यू कर निकालने में पुलिस व एसडीआरएफ को छह घंटे लगे। रात के अंधेरे में जिस तरह से टीम ने रेस्क्यू चलाया, वह काफी जटिल था, एक तरफ यमुना की डरावनी लहरें, ऊपर से परेशानी बढाता रात का अंधेरा मुश्किलें खड़ी कर रहा था। लेकिन, टीम में शामिल पुलिस कर्मियों ने छह पुरुष, पांच महिलाओं व 19 बच्चों को सकुशल बचा लिया। छह घंटे की मशक्कत के बाद मंगलवार सुबह प्रात: साढ़े चार बजे सबको नदी से सकुशल बाहर निकाल लिया गया था। टापू पर फंसे सभी लोग वन गुर्जर थे, जो दो दिन पहले ही बड़कोट उत्तरकाशी के पहाड़ी इलाकों से यहां पर आकर रह रहे थे। कोतवाल महेश जोशी ने लोगों से अपील की कि वर्षाकाल में नदी के बीच में न जाएं।


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