दून में वायरल बुखार की मार, घर-घर लोग बीमार; डेंगू करा रहा कदमताल
दून में डेंगू से जहां स्वास्थ्य विभाग की कसरत करा रखी है वहीं अब लोग वायर बुखार की भी चपेट में आने लगे हैं। इससे स्वास्थ्य महकमें की चिंता बढ़ गई है।
देहरादून, जेएनएन। दून में डेंगू से जहां स्वास्थ्य विभाग की कसरत करा रखी है, वहीं अब लोग वायर बुखार की भी चपेट में आने लगे हैं। इससे स्वास्थ्य महकमें की चिंता बढ़ गई है। कभी बारिश तो कभी धूप के कारण लगातार बदल रहा वातावरण लोगों की सेहत पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहा है। इन दिनों वायरल बुखार तेजी से फैला हुआ है। स्थिति ये है कि सरकारी अस्पताल हों या निजी, हर जगह वायरल के मरीज दिख रहे हैं।
इस वक्त अस्पताल में आने वाला हर दूसरा मरीज वायरल बुखार से पीड़ित हैं। किसी को बुखार के साथ गले, सिर व कमर में दर्द की शिकायत है तो किसी का शरीर आग की तरह तप रहा है। इन्हें जुकाम, खांसी के अलावा कफ के चलते सांस लेने में भी तकलीफ हो रही है।
तापमान में उतार-चढ़ाव के कारण भी लोग तेजी से वायरल की चपेट में आ रहे हैं। चिकित्सकों के अनुसार मौसम के बदलने और तापमान में आने वाले बदलाव की वजह से शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती है, जिससे बुखार और बैक्टीरिया आसानी से शरीर में चले जाते हैं। यह बुखार ऐसा होता है जो पूरे शरीर को कमजोर कर देता है।
तरल पदार्थ का सेवन करें
बुखार के कारण डिहाइड्रेशन हो सकता है, जिससे और अधिक थकान हो सकती है। इसलिए पानी और सूप आदि का खूब सेवन करें। यदि आपको बुखार के साथ उल्टी और दस्त भी हो रहे हैं, तो काफी मात्रा में तरल पदार्थ पीना और अधिक जरूरी हो जाता है। पानी में एक चुटकी नमक और एक चम्मच चीनी डालकर पीने से इलेक्ट्रोलाइट्स की भरपाई होगी।
एक से दूसरे में फैलता संक्रमण
वायरल फीवर को रोकना आसान नहीं है। उनमें से अधिकांश बुखार अत्यधिक संक्रामक होते हैं। एक से दूसरे में संक्रमण फैलता जाता है। वायरल से खुद का बचाने के लिए स्वच्छ रहन-सहन और अच्छी प्रतिरक्षा प्रणाली महत्वपूर्ण है। ऐसे में खांसते, छींकते समय रूमाल या टिश्यू पेपर से मुंह और नाक को ढक लें। इससे आसपास के लोग संक्रमण से बच सकेंगे। खांसी, सर्दी या बुखार वाले लोगों के संपर्क में आने बचें।
वायरल बुखार के लक्षण
गले में दर्द होना, बदन दर्द या मसल्स पेन, खांसी आना, सिरदर्द या त्वचा में रैशेज होना, सर्दी-गर्मी लगना, आंखों में जलन, थकान महसूस होना, तेज बुखार होना।
सर्वे में मिले बुखार पीड़िता
दून के मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. एसके गुप्ता के अनुसार, डेंगू को देखते हुए इस वक्त टीमें घर-घर जाकर सर्वे कर रही हैं। जहां 7550 लोग बुखार से पीडि़त मिले हैं। इसके अलावा स्वास्थ्य शिविरों में भी 3266 बुखार पीडि़त आए हैं। जबकि डेंगू का आंकड़ा इससे काफी कम है। जाहिर है कि वायरल के कारण भी लोग आशंकित हैं।
मरीजों में साठ फीसदी वायरल बुखार से पीड़ित
गांधी नेत्र चिकित्सालय के वरिष्ठ फिजीशियन डॉ. प्रवीण पंवार के अनुसार, ओपीडी में मेरे पास रोजाना औसतन 180 मरीज आते हैं। इनमें से 60 फीसदी वायरल बुखार से पीडि़त होते हैं। सामान्य उपचार से ये ठीक हो जाते हैं, मगर लापरवाही घातक साबित हो सकती है।
डेंगू ने करा दी स्वास्थ्य विभाग की कदमताल
दून में इस बार डेंगू का मच्छर रिकॉर्ड तोड़ रहा है। जनपद देहरादून में अब तक 2607 लोगों में डेंगू की पुष्टि हुई है। मच्छर की इस सक्रियता ने स्वास्थ्य महकमे को भी हलकान कर रखा है। स्वास्थ्य, शिक्षा विभाग, समेकित बाल विकास परियोजना, नगर निगम व पुलिस की 21 टीमें मैदान में डटी हैं। अब तक 61 हजार 252 घरों में लार्वा का सर्वे किया गया है। इसमें से 3760 घरों पर लार्वा पाया गया और इसे नष्ट किया गया।
मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. एसके गुप्ता ने प्रेस वार्ता में बताया कि डेंगू नियंत्रण अभियान के तहत विगत अगस्त माह से सघन जन जागरूकता व सोर्स रिडक्शन अभियान चलाया जा रहा है। इसके साथ ही डेंगू के मरीजों के लिए विभिन्न अस्पतालों में 42 आइसोलेशन वार्ड बनाए गए हैं। जिनमें 141 बेड रिजर्व किए गए। 36 स्वास्थ्य शिविर लगाए गए हैं। उन्होंने बताया कि देहरादून में पांच स्वास्थ्य इकाईयों में एलाइजा जांच की सुविधा दी गई है। इनमें गांधी नेत्र चिकित्सालय, कोरोनेशन, दून मेडिकल कॉलेज, एसपीएस ऋषिकेश व सीएचसी रायपुर शामिल हैं।
ये क्षेत्र हैं प्रभावित
रायपुर, लाडपुर, नालापानी, ईसी रोड, राजपुर, प्रेमनगर, राजपुर, पटेलनगर, डिफेंस कॉलोनी, रेसकोर्स, धर्मपुर, चंदर नगर, डालनवाला, सुभाष रोड, जोगीवाला, डोईवाला, ऋषिकेश, हाथीबड़कला, वाणी विहार समेत 33 क्षेत्र।
निजी अस्पतालों में ज्यादा मरीज
डेंगू के कारण इस वक्त सरकारी ही नहीं, बल्कि निजी अस्पतालों में भी मरीज भरे पड़े हैं। वर्तमान समय में सरकारी अस्पतालों में 104 मरीज भर्ती हैं, जबकि निजी अस्पतालों में 162 मरीज भर्ती हैं।
6 मौत घोषित, 5 का डेथ ऑडिट
दून में डेंगू से अब तक 11 लोग जान गंवा चुके हैं। सीएमओ के अनुसार डेंगू से मौत के 6 मामले पुष्ट हो चुके हैं, जबकि 5 मामले संदिग्ध हैं। इनका स्वास्थ्य विभाग की ओर से डेथ ऑडिट कराया जा रहा है। ताकि पता चल सके कि मौत डेंगू से ही हुई है या फिर किसी और कारण से।
डेंगू नियंत्रण अभियान
42 आइसोलेसन वार्ड
141 बेड डेंगू के लिए आरक्षित
2607 मामलों में डेंगू पॉजिटिव
6 मरीजों की हुई है मौत
61252 घरों में किया गया लार्वा सर्वे
3760 घरों में मिला लार्वा
21 टीमें लगाई गई हैं सर्वे व जागरुकता अभियान में
36 स्वास्थ्य शिविर लगाए गए
5 अस्पतालों में एलाइजा जांच की सुविधा
डेंगू से बचाव को अब 100 वार्डों में सघन अभियान
डेंगू व अन्य संक्रामक बीमारियों की रोकथाम के लिए अब स्वास्थ्य विभाग ने नगर निगम के अंर्तगत आने वाले 100 वार्डों में सघन जागरूकता अभियान चलाने का निर्णय लिया है। जिसके तहत न केवल लोगों को जागरूक किया जाएगा, बल्कि घर-घर जाकर जांच भी की जाएगी। इस अभियान की शुरुआत मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. एसके गुप्ता ने की।
उन्होंने बताया कि इसमें स्थानीय जनप्रतिनिधि व पार्षदों का भी सहयोग लिया जा रहा है। अभियान के दौरान आमजन को डेंगू फैलाने वाले मच्छर को नियंत्रित करने व बीमारी से बचाव के तरीकों की जानकारी दी जाएगी। साथ ही प्रचार-प्रसार सामग्री भी उपलब्ध कराई जाएगी।
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बताया कि नगर निगम के अंतर्गत आने वाले वार्डों के अलावा रायपुर, डोईवाला, सहसपुर व विकासनगर के मैदानी क्षेत्रों में भी इस तरह का अभियान चलाया जाएगा। सीएमओ के अनुसार रविवार को चीड़ोवाली, भंडारी बाग स्थित मुस्लिम कालोनी, नेहरू कालोनी, पथरिया पीर आदि क्षेत्रों में स्वास्थ्य शिविर लगाया गया। अब तिलक रोड, गांधी ग्राम व रिस्पना नगर में कैंप लगाया जाएगा।
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