सभी केंद्र --- सेबी के डीजीएम को सात घंटे तक निवेशकों ने बनाया बंधक
जागरण संवाददाता, देहरादून: सुप्रीम कोर्ट के आदेश के ढाई साल बाद भी पैसा न लौटने से गुस्साए पीएसीए
जागरण संवाददाता, देहरादून: सुप्रीम कोर्ट के आदेश के ढाई साल बाद भी पैसा न लौटने से गुस्साए पीएसीएल कंपनी के निवेशकों ने सेबी कार्यालय में डीजीएम को बंधक बना लिया। सात घंटे तक चले विरोध के बाद आश्वासन मिलने पर निवेशकों ने शाम सात बजे डीजीएम को मुक्त किया।
पीएसीएल कस्टमर एसोसिएशन के बैनर तले सोमवार को कंपनी के सैंकड़ों निवेशक प्रमुख भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) कार्यालय पहुंचे और डीजीएम प्रशांत सैनी को उनके ऑफिस के दूसरे कमरे में ले जाकर बंधक बना लिया। निवेशकों का कहना था कि कुछ समय पूर्व सेबी ने रियल एस्टेट का कारोबार करने वाली कंपनी पीएसीएल के खातों को सीज कर दिया था। उत्तराखंड के निवेशकों ने करीब तीन हजार करोड़ रुपये कंपनी में लगाए थे। जिन्हें उस समय तीन महीने में लौटाने की बात कही गई। जब सेबी ने पैसे नहीं लौटाए तो मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा। सुप्रीम कोर्ट ने लोढ़ा समिति का गठन करते हुए छह महीने के भीतर कंपनी की पांच हजार बीघा भूमि को बेचकर निवेशकों का पैसा लौटाने के आदेश दिए। इस बात को ढाई साल बीत चुके हैं, लेकिन अब तक निवेशकों के पैसे नहीं लौटाए गए हैं।
इससे नाराज निवेशकों ने सोमवार दोपहर 12 बजे डीजीएम को बंधक बना लिया। शाम करीब सात बजे तक इसे लेकर हंगामा और विरोध चलता रहा। बाद में सेबी डीजीएम ने आश्वासन दिया कि वह एक सप्ताह के भीतर यह बता देंगे कि निवेशकों के पैसे कब तक लौटा दिए जाएंगे। जिसके बाद निवेशक शांत हुए। इस दौरान एसोसिएशन के अध्यक्ष आरएस बिष्ट, विजय चौहान, अजय यादव, खेमदत्त भट्ट, देवश्री देवी, महेंद्र सिंह, नीरज तिवारी, नरेश पाल, रवि डोभाल, शिव सिंह, आबिद, किशनचंद रमोला आदि मौजूद रहे।