Indian Army Raksha Bandhan 2020: बहनों ने चीन सीमा पर तैनात हिमवीरों को भेजी राखी, जानिए क्या कहा
Indian Army Raksha Bandhan 2020 भारत-चीन सीमा की अग्रिम चौकियों पर तैनात भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आइटीबीपी) के हिमवीरों के लिए जोशीमठ की बहनों ने शनिवार को 450 राखी भेजीं।
By Edited By: Published: Sat, 01 Aug 2020 10:55 PM (IST)Updated: Sun, 02 Aug 2020 11:19 AM (IST)
जोशीमठ(चमोली), जेएनएन। Indian Army Raksha Bandhan 2020 चमोली जिले से लगी भारत-चीन सीमा की अग्रिम चौकियों पर तैनात भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आइटीबीपी) के हिमवीरों के लिए जोशीमठ की बहनों ने शनिवार को 450 राखी भेजीं। उन्होंने आइटीबीपी परिसर औली (सुनील) में आयोजित कार्यक्रम के दौरान हिमवीरों की कलाई में भी राखियां बांधीं। बहनों की ओर से भेजी गई इन राखियों को आइटीबीपी प्रथम वाहिनी और औली स्थित भारतीय पर्वतरोहण और स्कीइंग संस्थान की ओर से अग्रिम चौकियों पर पहुंचाया जाएगा।
रक्षाबंधन के मौके पर सीमा चौकियों में कार्यक्रम आयोजित होंगे। लद्दाख की गलवन घाटी में चीनी सेना से तनातनी के बाद चमोली जिले में स्थित चीन सीमा पर भी जवानों की आमद बढ़ी है। ऐसे में जवानों को इस बार छुट्टियां भी कम मिल रही हैं। इसी के मद्देनजर जोशीमठ की बहनों ने औली (सुनील) में आयोजित कार्यक्रम में हिमवीरों के लिए राखियां भेजी, जिससे वह रक्षाबंधन के मौके पर बहनों के स्नेह से वंचित न रहें।
जोशीमठ निवासी देवेश्वरी शाह ने बताया कि वह बीते दस वर्षों से जवानों की कलाई में राखी बांध रही हैं। धनेश्वरी राणा ने बताया कि वह रक्षाबंधन के दौरान हर साल सीमा पर भाइयों से देश की रक्षा का वचन लेती हैं। कुसुम सती का कहना था कि जवानों को राखी भेजकर वह उन्हें बहन की कमी महसूस नहीं होने देती।
जानिए बहनों का क्या है कहना
- कलश आदि थापा (गढ़ीकैंट) कहती हैं कि भाई आर्मी में है तो हर साल घर आना संभव नहीं हो पाता। पिछले साल भाई राखी पर घर आया था। रक्षाबंधन पर भाई साथ हो तो इससे बेहतर क्या होगा। इस साल भी उसके आने की उम्मीद थी। लेकिन कोरोना के चलते नहीं आ सका। ऐसे में मैंने डाकघर के माध्यम से ही उसे राखी भेज दी है।
- बबीता जोशी (नकरौंदा) का कहना है कि हर साल राखी पर भाई का इंतजार रहता है, लेकिन आर्मी में होने के कारण उन्हें छुट्टी नहीं मिल पाती। ऐसे में डाक से ही राखी भेजती हूं। इस बार कोरोना के चलते राखी भी नहीं भेज रही हूं। फोन पर ही राखी की बधाई दूंगी।
- पूजा (चकराता रोड) का कहना है कि भाई की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधे बिना रक्षाबंधन कैसा। लेकिन देश की रक्षा से बढ़कर और कुछ नहीं। भाई को राखी और रोली कुरियर कर चुकी हूं। राखी के दिन वीडियो कॉल से भी बधाई दूंगी।
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