केएमओ बसों का संचालन ठप, यात्री परेशान
जागरण संवाददाता, बागेश्वर : जिले में केएमओयू की दस जगहों पर संचालन बंद होने से यात्रियों को
जागरण संवाददाता, बागेश्वर : जिले में केएमओयू की दस जगहों पर संचालन बंद होने से यात्रियों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। लंबे समय से इन रूटों पर संचालन पूर्ण तरह से बंद है। यात्रियों को अधिक पैसा देकर टैक्सियों में सफर करना पड़ रहा है। टैक्सी चालक भी दूसरा विकल्प नहीं होने के कारण यात्रियों की जमकर जेब काट रहे हैं। क्षेत्र के लोगों में इन रूटों में केएमओयू के संचालन करने की मांग मुखर हो गई है।
कुमाऊं मोटर आनर्स यूनियन की पूरे कुमाऊं में करीब 400 बसें संचालित होती हैं। तेल के दाम बढ़ने, किराया कम होने और सवारियों की कमी से केएमओयू को तगड़ा झटका लगा है। करीब 30 प्रतिशत बसों का संचालन बंद बताया जा रहा है। जिससे यात्री टैक्सी का रुख करने लगे हैं। उन्हें टैक्सियों में अधिक किराया देना पड़ रहा है। व्यापार मंडल गरुड़ के अध्यक्ष अखिल जोशी कहा कि जिले में रोडवेज बस डिपो नहीं है। केएमओयू की बसें शहर से लेकर पहाड़ के गांवों को जोड़ती है।
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ये बसें बंद
गरुड़-बागेश्वर, ग्वालदम-धारचूला, ग्वालदम-पिथौरागढ़, रानीखेत-ओगला, जालली-उडियारीबैंड, हल्द्वानी-ग्वालदम, गोपेश्वर-अल्मोड़ा, श्रीनगर-अल्मोड़ा, अल्मोड़ा-गंगोलीहाट, भैसड़गांव-बागेश्वर आदि स्टेशनों पर दो माह से केएमओ की बसें नहीं चल रही हैं।
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कर्मचारियों को वेतन के लाले
केएमओयू के कर्मचारी भी वेतन के लिए यूनियन को ताक रहे हैं। स्थानीय कर्मचारियों के अनुसार कई सालों से उन्हें पूरा वेतन नहीं मिल रहा है। जबकि होली, दीपावली आदि पर्वो पर आधा-अधूरा वेतन ही मिल रहा है।
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बसों को फिर से चलाने का प्रयास किया जा रहा है। यदि किराया बढ़ जाता तो घाटा कम होता, लेकिन ऐसा भी नहीं हो पा रहा है। केएमओयू घाटे से नहीं उबर पा रहा है। करीब 30 प्रतिशत बसें ठप हैं और कुछ बिक भी गईं हैं।
-धरणीधर जोशी, केएमओ, इंचार्ज