टस से मस नहीं बागी, सियासतदारों के छूटे पसीने
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : निकाय चुनावों की रणभेरी बजने और नामांकन पत्रों की जांच पूरी ह
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : निकाय चुनावों की रणभेरी बजने और नामांकन पत्रों की जांच पूरी होने के बाद अब राष्ट्रीय पार्टियों के उम्मीदवारों की धड़कनें और तेज होने लगी है। अब तक दोनों पार्टियों में बागियों को मनाने के लिए सियासतदारों ने खूब पसीना बहाया। लेकिन बागी टस से मस होने को तैयार ही नहीं हैं।
राष्ट्रीय दल कांग्रेस और भाजपा ने टिकट की घोषणा की तो दोनों पार्टियों में अध्यक्ष पद की उम्मीदवारी कर रहे है बांकी उम्मीदवारों ने पार्टियों के खिलाफ बगावती बोल शुरू कर दिए। कांग्रेस पार्टी के चार पुराने नेताओं ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया। एक ने बसपा का दामन पकड़ लिया तो तीन अन्य ने मिलकर एक को अध्यक्ष पद के लिए मैदान में उतार दिया। भाजपा में भी दो बागियों ने अलग अलग निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में नामांकन भी करा लिया। सभी बागियों को नामांकन पत्र वैध भी पाए गए हैं। लेकिन दोनों राष्ट्रीय दल अभी तक बागियों को मनाने में नाकामयाब साबित हुए हैं। बागियों को मनाने के लिए दोनों दलों के नेताओं ने जी तोड़ कोशिश की। लेकिन नतीजा सिफर ही साबित हुआ। अब पार्टी पदाधिकारियों ने बागियों को मनाने के लिए हाईकमान से गुहार लगानी शुरू कर दी है। शनिवार को नाम वापसी का अंतिम दिन है। ऐसे में अगर बागी नहीं मानें तो दोनों पार्टियों के उम्मीदवारों के लिए मुश्किल खड़ी हो सकती है।