हत्या के मामले में पत्नी समेत तीन को आजीवन कारावास
संवाद सहयोगी अल्मोड़ा हत्या के एक मामले में जिला एवं सत्र न्यायाधीश डा. ज्ञानेंद्र कुमार शम
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : हत्या के एक मामले में जिला एवं सत्र न्यायाधीश डा. ज्ञानेंद्र कुमार शर्मा ने तीन अभियुक्तों पर दोष सिद्ध पाया है। मृतक की पत्नी समेत उसके दो अन्य साथियों को इस मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। पत्नी को पांच हजार व अन्य दो को दस-दस हजार रुपये अर्थदंड भी जमा करना होगा।
अभियोजन पक्ष के अनुसार नेहा जोशी पत्नी सुरेश चंद्र जोशी निवासी देवलीखान ने अपने पति के बड़े भाई जो चंड़ीगढ़ में रहते हैं को फोन कर बताया कि उनके पति सुरेश रात को खाना खाकर किसी मामले को लेकर राजेंद्र नाम के व्यक्ति के यहां गए और देर रात तक वापस नहीं लौटे। थोड़ी देर के बाद जब सुरेश के बड़े भाई की बेटी ने सुरेश के नंबर पर फोन किया तो उसे नेहा ने ही रिसीव किया और उसने अपने पास मौजूद ग्राम प्रधान कमला जोशी से उनकी बात कराई। कमला ने उन्हें बताया कि उनका भाई सुरेश विनायक रोड पर पड़ा हुआ है और उसकी मौत हो गई है। जिसके बाद सुरेश के बड़े भाई चंड़ीगढ़ से गांव रवाना हुए। उनके घर पहुंचने तक सुरेश का पोस्टमार्टम हो चुका था।
अंतिम संस्कार के बाद जब गांव वालों के सामने सुरेश की पत्नी नेहा से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि अभियुक्त घनश्याम उर्फ गोलू से उसके अवैध संबंधों के चलते सुरेश उस पर शक करते थे। जिस कारण घनश्याम और एक व्यक्ति ने मिलकर उनकी हत्या कर दी। इस मामले में रिपोर्ट पटवारी क्षेत्र शीतलाखेत में लिखाई गई। जिस पर विवेचना के बाद आरोप पत्र न्यायालय में पेश किए गए।
इस मामले में अभियोजन की ओर से जिला शासकीय अधिवक्ता गिरीश फुलारा, सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता शेखर चंद्र नैलवाल व विशेष लोक अभियोजक भूपेंद्र कुमार जोशी ने न्यायालय में 14 गवाह परीक्षित कराए। लिखित और मौखिक साक्ष्यों को सुनने के बाद सत्र न्यायाधीश डा. ज्ञानेंद्र कुमार शर्मा ने नेहा जोशी निवासी देवलीखान को आजीवन कारावास और पांच हजार रुपये अर्थदंड, सोनू उर्फ शंकर वैला निवासी पुत्र अंबादत्त निवासी देवलीखान व घनश्याम उर्फ गोलू पुत्र भवानीदत्त निवासी ग्राम बमर को भी आजीवन कारावास और दस-दस हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। अर्थदंड जमा न करने पर सभी को तीन महीने की अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।