खरमास खत्म होते ही बनने लगेगा श्रीकाशी विश्वनाथ कारिडोर, फरवरी में शिलान्यास
बाबा दरबार से गंगा तक श्रद्धालुओं की राह आसान करने के लिहाज से पीएम व सीएम का ड्रीम प्रोजेक्ट श्रीकाशी विश्वनाथ कारिडोर खरमास खत्म होते ही बनने लगेगा।
वाराणसी, जेएनएन। बाबा दरबार से गंगा तक श्रद्धालुओं की राह आसान करने के लिहाज से प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री का ड्रीम प्रोजेक्ट श्रीकाशी विश्वनाथ कारिडोर खरमास खत्म होते ही बनने लगेगा। रविवार शाम लगा खरमास 14 जनवरी की रात खत्म हो रहा है और 15 जनवरी को मकर संक्रांति पर निर्माण के लिए पहला फावड़ा गिर जाएगा। इस लिहाज से परामर्शदात्री कंपनी की ओर से डिजाइन को अब अंतिम रूप दिया जा रहा है।
खुद मुख्यमंत्री की ओर से इस कार्य में तत्परता बरतने का निर्देश दिया गया है। डिजाइन फाइनल होते ही शासन स्तर तक की कागजी औपचारिकताएं पूरी करने के साथ निर्माणी फर्म का चयन कर लिया जाएगा। कुछ हद तक खाका सामने आने पर फरवरी में इसका शिलान्यास किया जाएगा। फिलहाल भवनों की खरीद व उनके ध्वस्तीकरण का कार्य किया जा रहा है। हालांकि आरंभ में किए गए सर्वे के अनुसार 296 भवनों से संख्या घटाकर 270 की जा चुकी है लेकिन इसमें से 203 ही खरीदे जा सके हैं।
वैसे भवनों के लिए तय भवनों में चार नगर निगम की संपत्ति व 13 देवालय हैं। वास्तव में कारिडोर का शिलान्यास नवंबर में ही कराया जाना था लेकिन भवनों की खरीद न हो पाने, विधिक मसले व डिजाइन को लेकर इसमें लगातार विलंब होता गया। उद्देश्य यह कि शुरूआत में ही रोड़े खत्म कर कारिडोर निर्माण में हाथ लगाया जाए ताकि इसे निर्बाध जल्द से जल्द पूरा किया जा सके।
मुख्य कार्य पालक अधिकारी विशाल सिंह के अनुसार कारिडोर को श्रद्धालुहित में सुविधा युक्त के साथ ही दर्शनीय बनाने के लिहाज से डिजाइन में लगाता सुधार किया जा रहा है। पिछले महीने बनारस आए केंद्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल ने इस निमित्त सुझाव दिए थे तो मुख्यमंत्री की निरंतर नजर है। सुरक्षा व्यवस्था व सुविधा लिहाज से संबंधित विभागों की ओर से दी गई सलाह को भी इसमें शामिल किया जा रहा है।