विंध्याचल मंदिर में सन्नाटा, लाइटिंग का काम शुरू हुआ, नवरात्र मेला का नहीं होगा आयोजन
कोरोना वायरस की वजह से विंध्याचल मंदिर के कपाट पहले ही बंद किए जा चुके हैं। जिलाधिकारी के आदेश पर नवरात्र की तैयारियां रोक दी गई थीं।
मीरजापुर, जेएनएन। कोरोना वायरस की वजह से विंध्याचल मंदिर के कपाट पहले ही बंद किए जा चुके हैं और मंदिर तक पहुंचना भी मुश्किल हो गया है। विंध्य पंडा समाज के पदाधिकारी व पुजारियों द्वारा आरती कराई जा रही है। हालांकि मंगलवार से मंदिर की लाइटिंग का काम शुरू किया गया जबकि जिलाधिकारी के आदेश पर नवरात्र की तैयारियां रोक दी गई थीं। ऐसी अभूतपूर्व बंदी देखकर हर कोई सहमा सहमा सा है। इस बार 25 मार्च से नवरात्र शुरू होकर तीन अप्रैल को समाप्त होगा। कोरोना वायरस के डर के कारण विंध्याचल स्थित होटल, लाॅज, धर्मशालाओं की 25 मार्च की बुकिंग कराने के बाद कोरोना वायरस के कारण लोग अब बुकिंग कैंसिल भी करा दिए हैं।
स्थानीय व्यापारियों ने बताया कि दुकानों पर काम करने वाले, दिहाड़ी मजदूर आदि के सामने भूखमरी की समस्या खड़ी हो गई है। सभी दुकानें बंद होने और दर्शनार्थियों के दर्शन पर रोक लगने की वजह से यह समस्या अभी बनी रहेगी। स्थानीय लोगों का कहना है कि बंद कराया जा रहा है तो सरकार को गरीबों के भोजन की भी व्यवस्था करनी चाहिए।
नहीं निकलेगी शोभायात्रा, भगवा ध्वज फहराकर मनाएंगे रामनवमी
कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप के चलते श्रीरामनवमी पर्व पर दो अप्रैल को निकलने वाली श्रीराम जन्मोत्सव शोभायात्रा स्थगित कर दी गई। यह निर्णय देश की खुशहाली व समाज की सुरक्षा के लिए लिया गया है। श्रीराम जन्मोत्सव शोभायात्रा समिति के संस्थापक मनोज श्रीवास्तव ने लोगों से अपील किया कि श्रीराम जन्मोत्सव पर निकलने वाली शोभायात्रा मार्ग के साथ ही अपने घर व दरवाजे की दहलीज पर ओम अंकित भगवा ध्वज फहराकर श्रीराम जन्मोत्सव मनाएं। कहा कि कोरोना से बचने के लिए भीड़ से दूर रहना आवश्यक है। साथ ही उन्होंने सावधानी के साथ रहने और विभिन्न प्रदेश से आए लोगों से दूर रहने को कहा। उन्होनें श्रीरामभक्तों से केंद्र और प्रदेश सरकार के निर्देशानुसार कंधे से कंधा मिलाकर कार्य करने का आह्वान भी किया।