वाराणसी में गंगा पार बनी नहर का बालू जस का तस, नहीं शुरू हो पाया उठान
वाराणसी के गंगा घाटों के सरंक्षण के लिए समांनांतर बनी नहर के दोनों तरफ से बालू का उठान अब तक शुरू नहीं हुआ है। बालू की उठान बड़ी समस्या बनती जा रही है। जिलाधिकारी ने एक पखवारा पहले ही बालू उठान का निर्देश दिया था।
जागरण संवाददाता, वाराणसी : गंगा घाटों के सरंक्षण के लिए समांनांतर बनी नहर के दोनों तरफ से बालू का उठान अब तक शुरू नहीं हुआ है। बालू की उठान बड़ी समस्या बनती जा रही है। जिलाधिकारी ने एक पखवारा पहले ही बालू उठान का निर्देश दिया था, लेकिन इस दिशा में अब तक कार्य शुरू नहीं हुआ। बालू उठान को लेकर कई नीलामी की प्रक्रिया हुई। रिंग रोड फेज दो से जुड़े कांट्रैक्टर भी इसमें शामिल हुए। एक सप्ताह पहले लगभग 2.5 लाख घन मीटर बालू की नीलामी भी फाइनल हो गई थी लेकिन उठान शुरू नहीं हुआ। ठेकेदारों ने बालू उठान के लिए सबसे बड़ी समस्या रास्ता का न होना बताया था। जिलाधिकारी ने इस बाबत यूपीपीसीएल को रास्ता तत्काल तैयार कराने का निर्देश दिया लेकिन इस दिशा में कोई कदम नहीं बढ़े। उम्मीद जताई जा रही है कि रास्ता ठीक होते ही बालू उठान को लेकर कांट्रैक्टर आगे आएंगे। जिलाधिकारी ने यह भी कहा था कि बालू उठान कर इसकाे कोई एकत्रित करना चाहता है तो इस बाबत भी अस्थाई बालू संग्रह की अनुमति दी जाएगी।
2.5 लाख घन मीटर बालू की नीलामी हो चुकी
गंगा घाटों के सरंक्षण के लिए उस पार बनाई जा रही नहर के दोनों तरफ के बालू हटाना बड़ी समस्या बनती जा रही है। बरसात जारी है, बाढ़ की संभावना से भी इंकार नहीं किया जा सकता है। हालांकि अब तक चार बार हुई नीलामी के बाद पांच ठेकेदार बालू उठान को सामने आए हैं। इसमें रिंग रोड फेज दो से जुड़े कांट्रैक्टर भी शामिल हैं। लगभग 2.5 लाख घन मीटर बालू की नीलामी हो चुकी है। कुल छह लाख घन मीटर बालू होने का अनुमान है। इस तरह अभी 3.5 लाख घन मीटर बालू के उठान की नीलामी होनी शेष है। चार बार की नीलामी में मुश्किल से पांच ठेकेदार बालू उठान को तैयार हुए। सरकारी कोई विभाग आगे नहीं आया।