Move to Jagran APP

Sampurnanand Sanskrit University आधुनिक प्रौद्योगिकी के माध्यम से प्राच्य विद्या पुरातन वैभव की ओर अग्रसर

काशीस्थ संपू्र्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय प्राच्य विद्या के संरक्षण संवर्धन के लिए कर्त्तव्य पथ पर अग्रसर है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Sun, 24 May 2020 05:49 PM (IST)Updated: Sun, 24 May 2020 05:49 PM (IST)
Sampurnanand Sanskrit University आधुनिक प्रौद्योगिकी के माध्यम से प्राच्य विद्या पुरातन वैभव की ओर अग्रसर
Sampurnanand Sanskrit University आधुनिक प्रौद्योगिकी के माध्यम से प्राच्य विद्या पुरातन वैभव की ओर अग्रसर

वाराणसी, जेएनएन। काशी देश ही नहीं अपितु विश्व में आध्यात्मिक, सांस्कृतिक एवं शैक्षणिक नगरी के रूप में विख्यात है। देश की प्राचीनतम संस्कृत संस्थाओं में से एक है काशीस्थ संपू्र्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय। सर्वविदित ही है कि प्राच्य विद्या के संरक्षण, संवर्धन के लिए यह विश्वविद्यालय (अपने विभिन्न रुपों में) कर्त्तव्य पथ पर अग्रसर है।

loksabha election banner

सीमित संसाधनों और मां भारती के वरद पुत्रों के माध्यम से अनेक झंझावातों के बावजूद भारतीय संस्कृति की संवाहिका संस्कृत के प्रचार-प्रसार के लिए सदैव समर्पित रहा है। वर्तमान में समूचा विश्व कोरोना जैसी महामारी से संकट में है। अपना देश भी इससे अछूता नहीं है। इसके प्रसार को रोकने के लिए लाकडाउन जारी है। अन्य गतिविधियों के साथ ही शैक्षिक गतिविधियों पर भी इसका प्रभाव पड़ना स्वाभाविक ही है।

ऐसे में संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. राजाराम शुक्ल ने अपने आचार्यों, शिक्षकों को साथ लेकर एक गंभीर मंथन करते हुए छात्र हित में ठोस कदम उठाए हैं। आॅनलाइन कक्षाएं, शास्त्रार्थ सभा का आयोजन, वेबिनार आदि आरंभ हुए। आधुनिक प्रौद्योगिकी के माध्यम से प्राच्य विद्या के गंभीर विषयों पर वेबिनारों में देश ही नहीं अपितु विश्व के विद्वानों के बीच चर्चा हुई।

संस्कृत जगत को एक सूत्र में बांधने का उत्तम प्रयास

कुलपति प्रो शुक्ल की सक्रियता और विश्वविद्यालय के आचार्यों की अभिरुचि का ही सुखद परिणाम है कि लाॅकडाउन होने के बावजूद भी संस्कृत जगत को एक सूत्र में बांधने का उत्तम प्रयास हुआ है। परोक्ष व अपरोक्ष रूप में विश्वविद्यालय परिवार के सभी सदस्यों की भूमिका भी सराहनीय है। आज शासन प्रशासन के दिशा-निर्देशों का अनुपालन करते हुए कार्यालयों में महत्वपूर्ण कार्यों का निष्पादन भी हो रहा है। विश्वविद्यालय की अभ्युन्नति के लिए सभी वर्गों का यथोचित योगदान प्राप्त हो रहा है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.