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शीतलहर की चपेट में पूर्वांचल, बुधवार को इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा, दो दिन में 11 डिग्री गिरा तापमान

काशी सहित पूरा पूर्वांचल अब शीतलहर की चपेट में आ गया है। दो दिन में ही तापमान 11 डिग्री गिरने से लोगों की हड्डी भी हिलने लगी।बुधवार को इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Thu, 19 Dec 2019 03:50 PM (IST)Updated: Thu, 19 Dec 2019 05:41 PM (IST)
शीतलहर की चपेट में पूर्वांचल, बुधवार को इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा, दो दिन में 11 डिग्री गिरा तापमान
शीतलहर की चपेट में पूर्वांचल, बुधवार को इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा, दो दिन में 11 डिग्री गिरा तापमान

वाराणसी, जेएनएन। काशी सहित पूरा पूर्वांचल अब शीतलहर की चपेट में आ गया है। दो दिन में ही तापमान 11 डिग्री गिरने से लोगों की हड्डी भी हिलने लगी। चेतावनी जारी की गई है कि आने वाले एक-दो दिन में और भयानक सर्दी पड़ेगी। बुधवार को इस सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा। तीन डिग्री गिर कर अधिकतम तापमान 15 और करीब साढ़े तीन डिग्री सेल्सियस गिरकर न्यूनतम तापमान 8.4 डिग्री पर आ गया। इसके कारण दिन में भी बहुत तेज गलन बढ़ गई। बॉडी तापमान से 25 डिग्री पारा कम होने से लोगों की आफत बढ़ गई है।

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वैसे तो हाड़ कंपा देने वाली ठंड मंगलवार को ही शुरू हो गई थी, लेकिन बुधवार का दिन तो अत्यंत दुखदायी रहा। पिछले दिनों जहां एक ही दिन में करीब साढ़े पांच डिग्री पारा गिर गया था तो दूसरे दिन भी करीब छह डिग्री सेल्सियस तापमान अचानक ही गिर गया। दोपहर बाद भले ही धूप खिली, लेकिन ठंड से मामूली भी राहत नहीं थी। सनसनाती बर्फीली हवा के कारण हर ऊंनी वस्त्र भी नाकाफी साबित हो रहे थे। बहुत जरूरी कार्य से ही लोग बाहर निकल रहे थे। वरना ठंड के मारे लोग मकानों, दुकानों एवं कार्यालयों में ही दुबके थे। शाम के चार बजे के बाद तो स्थिति और ज्यादा खराब हो गई थी। ऐसे मौसम में बच्चों एवं बूढ़ों को सबसे अधिक बचाव की जरूरत बढ़ गई है।

37 डिग्री होना चाहिए बॉडी का तापमान

सामान्य तौर पर बॉडी को करीब 37 डिग्री सेल्सियस तापमान की जरूरत पड़ती है। बुधवार को अधिकतम 15 और न्यूनतम करीब साढ़े आठ डिग्री तापमान था। यानी एवरेज तापमान करीब 12 डिग्री हो गया है, जो बॉडी के तापमान से करीब 25 डिग्री कम हो गया है। ऐसे में लोगों की मुसीबत बढ़ गई है और सतर्कता बरतने की बहुत जरूरत है। पिछले सप्ताह जब लगातार दो दिन बारिश हुई थी तब भी इतनी कड़ाके की ठंड नहीं हुई थी। कारण कि उस समय आसमान में बादल थे और हवा भी पुरुवा थी। अब स्थिति बदल गई है। जम्मू-कश्मीर से ठंडी पछुआ हवा सीधे यहां आ रही है। इसका असर मंगलवार की दोपहर तक रहा। हालांकि इसके बाद धूप खिल गई, लेकिन ठंडी हवा बरकरार थी। यही स्थिति बुधवार को भी थी। दोपहर बाद धूप हुई, लेकिन ठंड की मार को कम नहीं कर पाई। प्रसिद्ध मौसम विज्ञानी प्रो. एसएन पांडेय ने कहा कि बुधवार इस सीजन का सबसे सर्द दिन रहा। गुरुवार एवं शुक्रवार को इससे भी अधिक ठंड पड़ सकती है। कोल्ड फ्रंट यहां से पास हो रहा है। पूर्वी उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में भयानक ठंड पडऩे की आशंका है। ऐसे में लोगों को बहुत ही सतर्क रहना होगा।


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